कोरोना को लेकर जागरुकता नहीं
गांव में कोरोना को लेकर जागरुकता का अभाव देखने को मिलाञ कोई भी ग्रामीण मास्क नहीं पहने दिखा। यहां तक की सैंपल देने आने के दौरान भी न बच्चा न ही बड़े मास्क पहनकर आए। सोमवार को बांसोडी पंचायत की मछरिया गांव की 8 माह की बच्ची, रही गांव की 14 माह की बच्ची और शिवपुरीके 5 माह का बच्चा कोरोना पॉजीटिव पाए गए थे। ग्वालियर में भी एक किशोर कोरोना पॉजीटिव निकला। तीसरी लहर की शंका को देखते हुए प्र्रशासन अलर्ट हो गया।
आंगनबाड़ी कार्यकर्ता ने बच्चों को बुलाया
जिला अस्पताल मुरार से संदीप प्रधान, विपिन श्रीवास्तव, पुष्पेन्द्र गोयल, प्रशांत शर्मा, संदीप मोहिते रही गांव पहुंचे। आंगनबाड़ी कार्यकर्ता घर घर जाकर बच्चों को और बड़ों लेकर पहुंची। टीम ने रही गांव में 206 लोगों के कोरोना की जांच के लिए सैंपल लिए है। टीम ने बताया कि 15 फीसदी लोग बुखार एवं सर्दी जुकाम से पीडि़त है। 206 में से 115 बच्चों के सैंपल लिए गए है।
पंचायत भवन में कैंप लगाकर जांच की
डॉक्टर मयंक दीक्षित एवं आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं ने बांसोड़ी गांव में जांच के लिए 13 लोगों के सैंपल लिए। मछरिया गांव में डॉक्टर अवनीश गुप्ता, डॉ नेहा, डॉक्टर सोना सिंह, आरके सिंह तोमर, दिनेश सोलंकी, और आंगनबाड़ी कार्यकर्ता आशा नरवरिया पहुंची। पंचायत भवन में कैंप लगाया। बांसोड़ी और मछरिया गांव से लौटते समय टीम ने भितरवार में करैरा तिराहे पर गाड़ी रोक कर, रोको टोको अभियान के तहत 42 लोगों की जांच की। फीवर क्लीनिक पर लैब टैक्नीशियन मोइन खान ने 36 की जांच की जिसमें सभी की रिपोर्ट नेगेटिव आई है।