उन्होंने बताया कि सबसे ज्यादा सूर्या कंपनी के अधिकारियों और कर्मचारियों के टिकट बनाते हैं। इन टिकटों के वह ज्यादा पैसे लेते हैं। वह एक प्राइवेट आइडी से भी टिकट बनाते है। आरपीएफ को दोनों आइडी से बने 38 इ-टिकट पिछली यात्रा के मिले, जिनकी कीमत 38,396 रुपए है, इन्हें जब्त कर लिया।
दलाल पर रेलवे अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया गया है। आरपीएफ टीआइ आनंद पांडेय ने बताया कि कई दिनों से इ-टिकट दलाल की जानकारी मिल रही थी। कार्रवाई में आरपीएफ एसआइ अवधेश गोस्वामी, केदार मीणा, वीके राय आदि शामिल रहे। आरपीएफ द्वारा इ-टिकट बनाने वालों पर लगातार कार्रवाई की जा रही है, इसके बाद भी दलाल बाज नहीं आ रहे हैं। शहर में कई क्षेत्रों में दलाल अपनी आइडी से टिकट बनाकर बेच रहे हैं।