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ठंडाई से हुआ भगवान का अभिषेक, आधे शरीर पर हुए महाकाल के दर्शन

locationग्वालियरPublished: May 24, 2018 06:37:28 pm

Submitted by:

monu sahu

ठंडाई से हुआ भगवान का अभिषेक, आधे शरीर पर हुए महाकाल के दर्शन

laxminarayan temple

ठंडाई से हुआ भगवान का अभिषेक, आधे शरीर पर हुए महाकाल के दर्शन

ग्वालियर लक्ष्मी नारायण पर चल रहे पुरषोत्तम मास पर आज बड़ी संख्या में भक्तों को भगवान महाकाल के दर्शन हुए। भक्तों द्वारा ठंडाई से प्रभु श्री का अभिषेक किया गया। लोग अपने घर से ठंडाई बना कर लाये और मंदिर में अर्पित की। बुधवार को भगवान के आधे शरीर पर 11 किलो मेवा और ठंडाई से अभिषेक किया गया। उज्जैन के महाकाल भगवान का रूप सभी को देखने को मिला।
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गौरतलब है की भगवान महाकाल को ठंडाई पसंद है। लक्ष्मी नारायण जी के रूप में महाकाल के दर्शन हुए थे तो ठंडाई का भोग लगाया गया था। बाबा महाराज ने बताया की आज उज्जैन के महाकाल को कुछ समय के लिए आमंत्रित किया गया था फिर सभी आचार्य के साथ अभिषेक किया गया।
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जिसमे पहले प्रभु के शरीर पर भांग का लेप बाबा महाराज ने लगाया गया। उसके बाद काजू पिस्ता बादाम लगाकर तुलसी और गंगाजल मिलाकर गंगासागर से धारा प्रभु पर डाली गई

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ठंडाई की धारा से प्रभु का अभिषेक हुआ और उज्जैन से बाबा महाकाल को वापस जाने का आग्रह किआ गया। इसके पश्चात उन पर चढ़ाया गया प्रसाद सभी को वितरित किया गया।
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भागवत कथा के श्रवण से ही जीवन होता है धन्य
छत्रीमंडी स्थित देववन गार्डन में चल रही श्रीमद् भागवत कथा में पं गिरराज शरण शर्मा ने कहा कि दीन, हीन दुराचारी , प्रतीत व्यक्ति भी रामनाम एवं उनके चरित को श्रवण कर पुण्यवान हो सकता है। कथा मानव जीवन को धन्य करने का सरल एवं सुलभ साधन है। कथा के श्रवण से ही जीवन धन्य होता है। उन्होंने कहा के राजनैतिक एवं सामाजिक समस्याओं का समाधान श्रीरामचरित के अनुकरण से ही संभव है।
आज सामाजिक समस्याओं का केवल ढोल पीटकर समरसता बनाने के स्थान पर बिगाड़ा जा रहा है। जबकि श्रीराम चक्रवती सम्राट दशरथ बेरों के स्वाद की जहां जाते मधुर प्रशंसा करते थे। अर्थात प्रदर्शन एवं स्वार्थ की राजनीति से बैराग लेकर श्रीराम के अनुसारव व्यवहार करे तथा श्रीराम का दर्शन एवं कथा से अनुराग करे, देश में व्याफ्त समस्याएं दूर होने में देर नहीं लगेगी।
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