लोगों की मदद के लिए बनाया ग्रुप
हमारे दोस्त रोहित का बर्थडे पांच महीने पहले 15 जून को था। हम सभी फ्रेंड इक_े हुए। उस दिन हमने कुछ नया करने का सोचा और एक ग्रुप बनाया कि हम नीडी की मदद करेंगे। तब से हमारा ग्रुप किसी भी असहाय को देखकर मदद के लिए आगे आता है। यह ग्रुप मिसहिल स्कूल के पुष्पेन्द्र सिंह और चिराग रन कर रहे हैं। टीम में 25 स्टूडेंट हैं।
हमारे दोस्त रोहित का बर्थडे पांच महीने पहले 15 जून को था। हम सभी फ्रेंड इक_े हुए। उस दिन हमने कुछ नया करने का सोचा और एक ग्रुप बनाया कि हम नीडी की मदद करेंगे। तब से हमारा ग्रुप किसी भी असहाय को देखकर मदद के लिए आगे आता है। यह ग्रुप मिसहिल स्कूल के पुष्पेन्द्र सिंह और चिराग रन कर रहे हैं। टीम में 25 स्टूडेंट हैं।
बीमार फ्रेंड को पहुंचाया घर
एक दिन मेरी फ्रेंड यास्मिन बीमार हो गई। प्रिंसिपल सर (सीपीएस राजपूत) ने उनके पैरेंट्स को फोन किया, लेकिन उनका फोन नहीं उठा। तब उन्होंने खुद उसे लेकर जाने का अरेंजमेंट किया, लेकिन मैंने यास्मिन का घर देखा था। मैंने सर से परमीशन लेकर अपनी साइकिल मैं बैठालकर उसे घर छोडकऱ आई और फिर लौटकर क्लास ली।
प्रियंका श्रीवास
एक दिन मेरी फ्रेंड यास्मिन बीमार हो गई। प्रिंसिपल सर (सीपीएस राजपूत) ने उनके पैरेंट्स को फोन किया, लेकिन उनका फोन नहीं उठा। तब उन्होंने खुद उसे लेकर जाने का अरेंजमेंट किया, लेकिन मैंने यास्मिन का घर देखा था। मैंने सर से परमीशन लेकर अपनी साइकिल मैं बैठालकर उसे घर छोडकऱ आई और फिर लौटकर क्लास ली।
प्रियंका श्रीवास
घायल दोस्त की मदद
कुछ समय पहले ही मेरे फ्रेंड वंश बत्रा को स्कूटर ने टक्कर मार दी। यह इन्फॉर्मेशन मेरे स्कूल आई। इसके पहले की सर स्कूल से निकलते, मैंने अपनी साइकिल उठाई और वंश के पास पहुंच गया। उसे तुरंत मुरार स्थित निजी हॉस्पिटल में एडमिट कराया। ट्रीटमेंट शुरू हो गया। सर इस बात पर मेरी पीठ थपथपाई। मुझे बहुत अच्छा लगा।
साहिल शिवहरे
कुछ समय पहले ही मेरे फ्रेंड वंश बत्रा को स्कूटर ने टक्कर मार दी। यह इन्फॉर्मेशन मेरे स्कूल आई। इसके पहले की सर स्कूल से निकलते, मैंने अपनी साइकिल उठाई और वंश के पास पहुंच गया। उसे तुरंत मुरार स्थित निजी हॉस्पिटल में एडमिट कराया। ट्रीटमेंट शुरू हो गया। सर इस बात पर मेरी पीठ थपथपाई। मुझे बहुत अच्छा लगा।
साहिल शिवहरे
एक साल से करा रहा रोड क्रॉस
शिवानी मेरी क्लासमेट है। वह बहुत सीधी है। हमारे स्कूल के सामने हैवी ट्रैफिक रहता है, जिसे पार करते समय वह कई बार एक्सीडेंट से बची। यह दृश्य देखकर खुद उसे रोड क्रॉस कराने की जिम्मेदारी ली। पिछले एक साल से मैं हमेशा उसे रोड पार कराता हूं और फिर अपने घर के लिए जाता हूं।
बादल जाटव
शिवानी मेरी क्लासमेट है। वह बहुत सीधी है। हमारे स्कूल के सामने हैवी ट्रैफिक रहता है, जिसे पार करते समय वह कई बार एक्सीडेंट से बची। यह दृश्य देखकर खुद उसे रोड क्रॉस कराने की जिम्मेदारी ली। पिछले एक साल से मैं हमेशा उसे रोड पार कराता हूं और फिर अपने घर के लिए जाता हूं।
बादल जाटव