पुलिस के मुताबिक कोटेश्वर कॉलोनी निवासी जगदीश शाक्य (46) पुत्र मोतीलाल की ट्रेन से टकराकर मौत हुई है। जगदीश सिगरेट, पुडिय़ा दुकानों पर बेचता था। सुबह 6 बजे सामान सप्लाई करने निकला था। कई दुकानों पर पहुंचना था इसलिए जल्दबाजी थी। नीड्म के पास पहुंचा तो रेल फाटक बंद हो गया। जल्दबाजी में नीचे से निकलकर पटरी पार करने लगा। तभी ट्रेन आ गई और टकरा गया। जगदीश की तीन बेटियां खुशबू, जया और रिंकी है। घर में कमाने वाला जगदीश ही था। भाई चुन्नीलाल ने बताया दो बेटियों की शादी करनी थी, इसलिए जगदीश दिन-रात मेहनत करता था, लेकिन बेटियोंं की शादी करके विदा करने से पहले ही वह उन्हें बेसहारा छोड़ गया।
पटरी के आस-पास गेटमैन और कुछ लोग भी खड़े थे। उन्होंने देखा कि सेल्समैन गेट पार कर पटरी पार कर रहा था, तभी ट्रेन आती दिखी। उन्होंने चिल्लाकर हटने के लिए कहा, लेकिन तब तक ट्रेन उसे चपेटे में ले चुकी थी। ट्रेन गुजरने के बाद लोगों ने देखा तो खून से लथपथ उसका शव पड़ा था।
ट्रेन इतनी स्पीड में थी कि जगदीश के दुपहिया वाहन के परखच्चे उड़ गए। उसके कई टुकड़े 50 फीट से ज्यादा तक उडकऱ गिरे। कुछ टुकड़े वहां मौजूद गेटमैन के शरीर में लगे, जिससे उसको भी चोटें आईं।
जगदीश की तीनों बेटियां लाड़ली थीं। रात को जब घर लौटता तब बेटियों के खाने के लिए कुछ न कुछ जरूर लेकर जाता था, इसलिए रोजाना बेटियां उसका इंतजार करती थीं। गुरुवार को भी वह निकला तो बेटियों ने कहा कि पापा कुछ अच्छा लेकर आना, लेकिन उसे घर से जाए हुए एक घंटा ही हुआ था कि बेटियों को पिता की मौत की खबर मिल गई।
घरवालों ने बताया कि करीब 5 साल पहले आग से जलकर पहली पत्नी की मौत हो गई थी। उसी से दो बेटियां थी। इसी हादसे में उसके पिता की भी जान चली गई थी। बाद में उसने दूसरी शादी कर ली, जिससे तीसरी बेटी हुई थी।