धर्मेंद्र सिंह कुशवाह पत्नी प्रीती के अलावा एक चार वर्षीय व दूसरी दो वर्षीय बेटी के अलावा आठ माह के बेटे की परवरिश के लिए मजदूरी कर रहा था, जबकि पुस्तैनी संपत्ति करोड़ों रुपए की है। प्रीति की मानें तो उसके ददिया ससुर पोतीराम कुशवाह को फुसलाकर उनके चचिया ससुर रामशंकर व राधेश्याम सिंह कुशवाह विधि पूर्वक बंटवारा कराने के बजाए उसके ससुर सीताराम कुशवाह के हिस्से की जायदाद भी बेचते चले जा रहे हैं। पोतीराम कुशवाह के तीन पुत्र हैं, जिनमें से दो बेटे जायदाद बेचकर ट्रैक्टर, खेती व जमीनें खरीद रहे हैं, जबकि उसके ससुर सीताराम की मौत हो जाने के बाद उसके पति व देवर को एक रुपया तक नहीं दिया गया है। शेष बची जायदाद में भी हिस्सा ना रहे इसलिए उसकी हत्या कर वारदात को आत्महत्या करार देने का प्रयास किया जा रहा है।
बीवी-बच्चों के साथ धर्मेंद्र खुश था ऐसे में वह खुदकुशी क्यों करेगा? किसी से झगड़ा नहीं हुआ और ना ही उसे किसी ने अपमानित किया तथा उस पर किसी प्रकार का कर्ज भी नहीं था। इतना ही नहीं उसे कोई बीमारी भी नहीं थी, जिससे वह इतना परेशान हो। घटना की पूर्व संध्या पर गुरुवार की शाम उसकी पत्नी से भी अच्छी तरह बाचतीत हुई फिर ऐसा क्या हुआ कि उसे खुदकुशी करनी पड़ी? यदि उसने फांसी लगाई थी तो परिजनों को शव उतारने की इतनी जल्दी क्या थी? यदि कोई भी व्यक्ति फांसी लगाता है तो अमूमन दुपट्टा, साड़ी, रस्सी या वायर का उपयोग करता है अपनी ही शर्ट की बाजू से फांसी लगाने की घटना संदेह उत्पन्न कर रही है। यहां बता दें कि धर्मेंद्र सिंह के पिता सीताराम की मौत कुछ साल पहले कुएं के अंदर काम करने के दौरान सिर पर मोटर गिरने से हो गई थी। थाना प्रभारी सिटी कोतवाली भिण्ड उदयभान सिंह यादव ने बताया कि शव को पीएम के लिए भिजवाने के बाद मामले की बारीकी से विवेचना की जा रही है। जो भी तथ्य सामने आएंगे उसके आधार पर कार्यवाही की जाएगी।