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व्यापारी का शव दतिया जिले में मिलने की सूचना मृतक के भाई पवन, रामकिशोर को मिल गई थी, लेकिन उन्होंने गौरव के घर पर उसकी पत्नी रश्मि व पिता अशोक कुमार को इसकी जानकारी तब लगने दी जब वे शव लेकर आ गए। गौरव का शव देखकर घर में कोहराम मच गया। पूरे कस्बे में शोक की लहर दौड़ गई। व्यापारियों ने अपने कारोबार बंद कर दिए और गुप्ता के घर पर जमा होने लगे। दतिया शव मिलने की खबर मिलने पर गौरव के बड़े भाई पवन व रामकिशोर तुरंत मौके लिए रवाना हो गए थे। बाद में रिश्तेदार व मित्र भी रवाना हो गए।
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एक वाहन में गौरव के मित्र वीरेंद्र बघेल, नारायण सिंह सिकरवार, राजवीर सिंह सिकरवार, संजय शिवहरे सहित आधा दर्जन लोग घायल हो गए। व्यापार मंडल के अध्यक्ष महावीर जैन के अनुसार चालक राजवीर की मौत हो गई है। बता दें कि गैस सिलेंडर व चूल्हा मरम्मत का कारोबार करने वाले गौरव गुप्ता ट्रॉला खरीदना चाहते थे। इसके लिए उन्होंने मुरैना में एक बैंक में लोन की बात की थी। गौरव के पिता अशोक कुमार के अनुसार वे १२ दिसंबर को १.५ लाख रुपए लेकर ट्रॉला फाइनेंस कराने गए थे, लेकिन लौटकर नहीं आए। इसके बाद १३ दिसंबर को मुरैना कोतवाली पहुंचकर सूचना दी।
पुलिस ने गुमशुगी तो दर्ज की लेकिन गौरव को खोजने का प्रयास नहीं किया। अपहरण मानकार व्यापारी १५ दिसंबर को एसपी से मिले और १६ तक गौरव के न मिलने पर बाजार बंद कराने की चेतावनी दी। १७ को बाजार बंद कराने के दूसरे ही दिन व्यापारी का शव मिल गया। दतिया पुलिस ने सोमवार को सुबह सिटी कोतवाली पुलिस को सूचना दी कि व्यापारी गौरव गुप्ता का शव बड़ौनी रेलवे टै्रक पर पड़ा मिला है। उसके बाद कोतवाली से पुलिस मौके पर पहुंची। उधर व्यापारी के परिजन व अन्य व्यापारी गाडिय़ों से दतिया पहुंचे। वहां पीएम के बाद उसका शव लेकर पोरसा पहुंच चुके हैं। घटना को लेकर परिजनों में कोहराम मचा हुआ है, वहीं व्यापारियों में इस बात को लेकर आक्रोश है कि पुलिस अधीक्षक को ज्ञापन देने के बाद भी अपहरण की कायमी नहीं की।
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घर में दो पत्नी और पिता के साथ दो बेटियां
गौरव गुप्ता हंसमुख और दिलेर व्यापारी थे। उनके घर में उनकी पत्नी रश्मि और पिता अशोक कुमार के अलावा दो बेटियां आराध्या व परी हैं। परी पांच साल की और आराध्या दो साल की है। पिता के लापता हो जाने से पूरा परिवार गमगीन था। कस्बे के व्यापारियों को शव मिलने की सूचना दोपहर तक मिल गई थी और परिजन शव लेने रवाना हो गए थे, लेकिन घर पर गौरव की पत्नी, पिता और बेटियों को इसकी सूचना शव आने के कुछ देर पहले ही दी गई।