पिछले चार दिन पहले देश के विभिन्न कोरोना हॉट स्पॉट क्षेत्रों से पिछोर समेत निबी, सहोना, किटोरा, कैधोदा, छपरा और गतारी गांव में करीब 45 लोग लौटकर आए हैं जो मजदूरी के लिए गए थे। इनमें बच्चे व महिलाएं भी शामिल हैं। इन सभी की जानकारी मिलने पर प्रशासन ने इनकी स्क्रीनिंग कराने के बाद इसमें से कुछ को संस्थागत और कुछ को होम क्वॉरंटीन में रख दिया था। इन सभी की सैपंलिंग होना थी जिसके लिए सैंपल किट के लिए स्थानीय प्रशासन ने मांग की थी लेकिन चार दिन बाद मंगलवार को किट मिलने के बाद सभी मजदूरों को छोटा बाजार स्थित शासकीय कन्या माध्यमिक विद्यालय में बुलाया गया और सभी की सैंपलिंग स्वास्थ्य विभाग की टीम ने की।
क्षेत्रीय लोगों में भय व्याप्तः प्रशासन द्वारा हॉट स्पॉट क्षेत्रों से आने वाले लोगों की जिस शासकीय स्कूल में कराई गई वह पिछोर के छोटा बाजार के बीचोंबीच है। इस स्कूल के बरामदे में चिकित्सक दल ने सैंपलिंग की। हालांकि प्रशासन ने इस दौरान बाजार बंद करा दिया। लेकिन इसी बाजार से लोगों के बीच होकर सैंपलिंग कराने वाले लोग निकलकर आए और गए। जिससे क्षेत्रीय लोगों में इस बात को लेकर रोष है। उनका कहना है कि सैंपलिंग के लिए आने वाले लोगों में से कुछ लोग संक्रमित हो सकते हैं और इनके बाजार से होकर आने जाने से संक्रमण का खतरा पैदा हो गया है।
क्वॉरंटीन सेंटर में नहीं दिया जा रहा खानाः प्रशासन पिछोर व उसके आसपास के गांवों में बाहर से आने वाले मजदूरों को मांगलिक भवन, शासकीय बालक हायर सेकंडरी स्कूल व बालक अनुसूचित जाति छात्रावास में क्वॉरंटीन में रख रहा है। वर्तमान में इन तीनों जगह 10 लोग क्वॉरंटीन में है जिनके खाने की व्यवस्था नहीं की गई है इसके साथ ही 46 डिग्री पारे में केवल पंखे की गर्म हवा में ये लोग रह रहे हैं। इन लोगों को या तो स्वयंसेवी संस्थाएं खाना खिला रही है या फिर इनके परिजन लेकर आ रहे हैं।
हमने किट न होने के बारे में वरिष्ठ अधिकारियों को अवगत करा दिया था। आज किट उपलब्ध होने पर सभी बाहर से आने वाले लोगों की सैंपलिंग कराई गई है। रहा सवाल क्वॉरंटीन में रह रहे लोगों के खाने का तो हमें निर्देश नहीं मिले हैं।
आनंद गोस्वामी, इंसीडेंट कमाडेंट पिछोर