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ग्वालियर

दिव्यांग बच्चों में भी टैलेंट, जरूरत है उन्हें पहचानकर आगे बढ़ाने की

दिव्यांग बच्चे खूबसूरत फूल की तरह होते हैं। इनकी आवश्यकताओं को समझा जाए और उसे स्वीकार किया जाए। बच्चे में उसकी क्षमता के अनुरूप प्रतिभा को समझकर तैयारी कराई जाए

ग्वालियरJul 19, 2019 / 06:00 pm

Avdhesh Shrivastava

 Parents Training Camp

दिव्यांग बच्चों में भी टैलेंट, जरूरत है उन्हें पहचानकर आगे बढ़ाने की

ग्वालियर. दिव्यांग बच्चे खूबसूरत फूल की तरह होते हैं। इनकी आवश्यकताओं को समझा जाए और उसे स्वीकार किया जाए। बच्चे में उसकी क्षमता के अनुरूप प्रतिभा को समझकर तैयारी कराई जाए। क्योंकि उनके पास भी किसी न किसी एक विधा का टैलेंट होता है। जरूरत है उसे पहचानकर आगे बढ़ाने की। यह बात एक्सपट्र्स ने प्रशिक्षण के दौरान अभिभावकों से कही। राज्य शिक्षा केन्द्र के निर्देशों के क्रम में गुरुवार को संभागीय दिव्यांग बालिका छात्रावास में अभिभावक प्रशिक्षण शिविर सम्पन्न हुआ। इसमें मुरार तथा घाटीगांव विकास खंड के दिव्यांग बच्चों के पैरेंट्स को प्रशिक्षण दिया गया।
पुस्तकें पढकऱ सुनाई जाएं : पैरेंट्स को बताया गया कि बच्चों को आगे बढऩे के लिए स्वयं का लक्ष्य हासिल करने के लिए लगातार अभिप्रेरित करना होगा। बच्चों के साथ रहकर यह देखा जाए कि वह किसी प्रकार से सोचते हैं और क्या क्रियाकलाप कर सकते हैं। बच्चे से घर पर हावभाव के साथ स्पष्ट बोलकर बातें की जाएं। बच्चे को स्वयं एवं अन्य किसी की सहायता से पुस्तकें पढकऱ सुनाई जाएं। इससे उनका ओवरऑल डवलपमेंट होगा।
ये रहे उपस्थित : इस अवसर पर पार्षद सुरजीत सिंह भदौरिया, सीमा राठौर, डाइट के समावेशित शिखा प्रभारी ओपी दीक्षित, एपीसीआईईडी कृष्णा अग्रवाल, सीडब्ल्यूएसएन कन्या छात्रावास के संचालक रामधुन सिंह राठौर एवं एमआरसी तथा 60 से अधिक अभिभावक उपस्थित रहे।

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