जबकि हर थाने में पुलिस के पास अपराधियों का चिट्ठा रहता है, गोला का मंदिर पुलिस के पास भी वाहन चोरों का चिट्ठा होगा। ऐसी वारदातों में माहिर बदमाशों की तलाश कर उन्हें वाहन चोरी करने वाले का फोटो दिखाया जाता तो हो सकता है चोर की पहचान में आसानी होती। बाइक मालिक एके द्विवेदी कहते हैं कि बाइक चोरी के फुटेज तो उन्होंने वायरल किए हैं। पुलिस को चोर की तलाश में दूसरे तरीके भी इस्तेमाल करने चाहिए। द्विवेदी ने बताया कि घटना 4 जुलाई की है, बेटे को साथ लेकर बैंक गए थे, वहां मुश्किल से 5 से 10 मिनट रुके थे। बाहर आए तो बाइक गायब थी। बैंक के गेट पर लगे सीसीटीवी के फुटेज चेक किए तो चोर उनकी बाइक ले जाता दिखा है। फुटेज में उसका चेहरा भी साफ नजर आ रहा है, इससे उम्मीद थी कि पुलिस चोर को पकड़ सकती है, लेकिन 7 दिन बाद उसका जवाब हैरान कर रहा है। उधर जांचकर्ता हवलदार शिवपाल सिंह का कहना है कि वाहन चोरों की गिनती इतनी बढ़ गई है कि उनकी पहचान करना मुश्किल है।
इसलिए फुटेज का ही सहारा बचता है। किसी भी जगह पर वाहन चोरी में गाड़ी पकड़ी जाएगी तो उसकी सूचना मिल जाएगी। तब चोर से घटना के बारे में पूछताछ करेंगे।
इसलिए फुटेज का ही सहारा बचता है। किसी भी जगह पर वाहन चोरी में गाड़ी पकड़ी जाएगी तो उसकी सूचना मिल जाएगी। तब चोर से घटना के बारे में पूछताछ करेंगे।