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गांव-गांव में फैला रहे शिक्षा का उजियारा, गढ़ रहे विकास की नई इबारत

locationग्वालियरPublished: Jan 28, 2022 11:01:27 am

Submitted by:

Mahesh Gupta

प्रदेश के 200 स्कूल में बना चुके डिजिटल क्लासरूम, बच्चों में पढ़ाई के प्रति रूचि

गांव-गांव में फैला रहे शिक्षा का उजियारा, गढ़ रहे विकास की नई इबारत

गांव-गांव में फैला रहे शिक्षा का उजियारा, गढ़ रहे विकास की नई इबारत

ग्वालियर

गांवों में आज भी शिक्षा का स्तर निम्न है। बच्चे स्कूल तक नहीं पहुंच रहे। माता-पिता शिक्षा को लेकर जागरूक नहीं है। पढ़ाई से हर बच्चे को जोडऩे व उन्हें डिजिटल लर्निंग देने की दिशा में ग्वालियर के अभिषेक दुबे विकास की नई इबारत लिख रहे हैं। वे मल्टीनेशनल कंपनीज को अपने मिशन से जोडकऱ गांवों के सरकारी स्कूल में डिजिटल क्लासरूम बना रहे हैं, जिससे बच्चों की पढ़ाई के प्रति रूचि बढ़ी है। साथ ही वे टेक्निकली मजबूत भी हो रहे हैं। अभिषेक अभी तक 200 स्कूल में 270 डिजिटल क्लासरूम तैयार कर चुके हैं।
2025 तक एक मिलियन बच्चों को डिजिटल लर्निंग से जोडऩे का लक्ष्य
अभिषेक ने बताया कि इस साल हम उत्तरप्रदेश के बाराबंकी में 100 स्कूल में डिजिटल क्लासरूम बनाने का प्लान है। पुणे और नोएडा में भी हम क्लासरूम तैयार कर रहे हैं। इंदौर में अमेजॉन के साथ मिलकर टैबलेट लैब तैयार कर रहे हैं। साल के आखिरी तक हमे एक हजार डिजिटल क्लासरूम बनाना है और 2025 तक हमारा एक मिलियन बच्चों को डिजिटल लर्निंग से जोडऩे का लक्ष्य है।
शिक्षकों को करते हैं प्रशिक्षित
इस मिशन में हमारी 20 युवाओं की टीम काम कर रही है। स्कूल में डिजिटल क्लासरूम बनाने के साथ ही हमारी टीम शिक्षकों को प्रशिक्षित करती है। डिजिटल क्लासरूम में हम बड़े साइज की स्मार्ट टीवी लगाते हैं। उसमें क्लास के अनुसार सभी बुक के कंटेंट ऑडियोज व वीडियो में बच्चे देख पाते हैं। हमारी टीम हर तीन महीने में शिक्षकों को प्रशिक्षण देती है।
इंजीनियरिंग के दौरान आया विचार
अभिषेक ने बताया कि मैं आइटीएम से इंजीनियरिंग की पढ़ाई के दौरान मैं स्लम एरिया में पढ़ाने जाता था। फिर मैंने एक टीम बनाई, जो हर वीकेंड बच्चों को पढ़ाती थी। तब मुझे लगा कि यदि गांवों के सरकारी स्कूल को बेहतर किया जाए तो बच्चे पढ़ाई से जुड़ेंगे। वहीं से मुझे डिजिटल क्लासरूम का विचार आया।
अभिषेक दुबे, फाउंडर, मुस्कान ड्रीम फाउंडेशन ग्वालियर
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