ज्वैलरी की पहचान के लिए एचयूआइडी जरूरी
हॉलमार्क को लागू हुए अभी दो साल भी पूरे नहीं हुए हैं कि अब 1 अप्रेल से इसमें बदलाव किया जा रहा है। सराफा बाजार में अब 4 अंकों के हॉलमार्क की जगह 6 अंकों की एचयूआइडी ज्वैलरी बिकेगी। सराफा बाजार में व्यवसायी सिर्फ यही ज्वैलरी बेच सकेंगे। सोने की शुद्धता पहचानने के लिए हॉलमार्क जून 2021 से लागू किया गया था। अभी यह पूरी तरह से लागू भी नहीं हो पाया है। अब ज्वैलरी की पहचान के लिए एचयूआइडी जरूरी किया जा रहा है। एचयूआइडी (हॉलमार्क यूनिक आइडेंटिफिकेशन डिजिट) ज्वैलरी की पहचान का एक नंबर होता है। यह 6 अंकों का अल्फान्यूमेरिक कोड है।
इलेक्ट्रिक व्हीकल- लोन अवधि पूरी होने तक सुविधा
इलेक्ट्रिक वाहन खरीदने वालों को योजना के तहत लोन पर ब्याज को आयकर में छूट मिल जाती थी। यह विशेष छूट नए वित्तीय वर्ष से बंद कर दी गई है। अगर कोई 1 अप्रेल के बाद ई-व्हीकल के लिए लोन लेता है तो उसे ब्याज की छूट नहीं मिलेगी। हालांकि जिनका पहले से लोन चल रहा है, उन्हें लोन अवधि पूरी होने तक सुविधा मिलती रहेगी।
कृषि गोदाम: सरकार खत्म करेगी सब्सिडी
31 मार्च के पहले जिन लोगों का कृषि वेयर हाउस के लिए आवेदन लग जाएगा, सिर्फ वे केंद्र सरकार की सब्सिडी का लाभ ले पाएंगे। 1 अप्रेल 2023 के बाद यह योजना खत्म की जा रही है। इसके साथ ही गोदाम के लिए अगर लोन लिया गया है तो सरकार द्वारा ब्याज में 3 फीसदी की सब्सिडी दी जाती है, उसे भी खत्म कर दिया जाएगा। एक अप्रेल 2023 के बाद लिए गए लोन पर यह सुविधा नहीं मिल पाएगी।
आयकर: पहले के रिटर्न नहीं भरे जाएंगे
पिछली बार पेश किए गए बजट में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने महत्वपूर्ण फैसला लेते हुए बिलेटेड आयकर रिटर्न की सुविधा करदाताओं को दी थी। उसी के तहत वित्तीय वर्ष 2019-20 के लिए अपडेटेड आयकर रिटर्न दाखिल करने की नियत तारीख 31 मार्च 2023 है। 1 अप्रेल 2023 से करदाता वित्त वर्ष 2019-20 या उसके पहले के लिए आयकर रिटर्न दाखिल नहीं कर सकते हैं।
जीएसटी: कम्पोजिशन स्कीम चुनाव पर निर्णय
जो करदाता खुद को नियमित जीएसटी से कम्पोजिशन योजनाओं में बदलना चाहते हैं, वे 31 मार्च 2023 से पहले परिवर्तित हो सकते हैं। अप्रेल 2023 से कम्पोजिशन स्कीम में परिवर्तित नहीं हो सकते हैं। इसलिए यह ऐसे कारोबारियों के लिए अंतिम मौका होगा।
बदलेंगे टीडीएस के नियम भी
-मार्केट लिंक्ड डिबेंचर यानी सूचीबद्ध ऋणपत्रों (एमएलडी) के ब्याज के भुगतान पर टीडीएस कटौती में अब तक मिल रही छूट खत्म हो जाएगी।
-ईपीएफ से निकासी केसमय पैन नंबर नहीं देने पर 20 प्रतिशत टीडीएस कटेगा।
-एनआरआइ और विदेशी कंपनियों को भुगतान किए गए आय पर 20 प्रतिशत टीडीएस कटेगा।
-विदेशी शेयरों में निवेश और रेमिटेंस पर 5 प्रतिशत के बदले 20 प्रतिशत टीडीएस कटेगा,इससे निवेश के साथ विदेशघूमना महंगा होगा।