व्यापारी शिवा गुप्ता बताते हैं कि बाजार में सबसे अधिक रेडीमेड कपड़ों की दुकानें हैं। कपड़ों की दुकानों में ग्राहकों की खासी भीड़ दिख रही है। खास बात यह कि खरीदारी के लिए पुरुषों से ज्यादा महिलाएं आ रही हैं। लोगों की डिमांड डिजाइनर कपड़ों की ज्यादा है। हम इसी को ध्यान में रख कर कपड़े उपलब्ध करवा रहे हैं।
विजय सक्सेना कहते हैं कि ईद में नए कपड़े पहनने का चलन है। कढ़ाईदार कुर्ता, पैजामा, सलवारसूट आदि की खरीदारी ज्यादा हो रही है। गर्मी को देखते इस बार लोग कुर्ता-पैजामा की मांग ज्यादा कर रहे हैं।
जानिए, क्यों मनाई जाती है ईद मुस्लिमों के लिए दो ही दिन विशेष खुशी वाले होते हैं ईद उल फितर और ईद उल जुहा। रमजान में पूरे महीने रोजे रखने के बाद इसकी समाप्ति के रूप में ईद मनाई जाती है। ईद अल्लाह से ईनाम लेने का दिन है। ईद मनाने से पहले एक परंपरा निभाई जाती है जिसे फितरा कहा जाता है, इसके तहत ईद मनाने वाले हर मुस्लिम को अपने पास से गरीबों को कुछ अनाज देना जरूरी होता है जिससे वह भी खुशी से ईद मना सके।