हरदाPublished: Nov 09, 2023 10:28:37 am
Sanjana Kumar
जिलेभर की सागौन की लकड़ी टिमरनी में होती है नीलामी, देशभर से आते हैं खरीदार...
जिले के टिमरनी क्षेत्र की पहचान सौगान की खास गुणवत्ता के कारण देशभर में है। टिंबर के कारोबार के कारण क्षेत्र का नाम टिमरनी पड़ा। सागौन और कृषि मंडी से सरकार को सबसे ज्यादा राजस्व मिलता है। फिर भी सागौन व कृषि आधारित कोई उद्योग 20 साल में नहीं खुल सका। बस स्टैंड, खेल मैदान और वनांचल में मोबाइल नेटवर्क, शिक्षा, स्वास्थ्य सुविधाओं का विस्तार और रोजगार के लिए पलायन विकास के दावों की पोल खोलते हैं। इस विधानसभा के 36 गांवों में आज भी नेटवर्क के लिए मोबाइल टॉवर नहीं हैं। चुनाव व इमरजेंसी में पहाड़ी पर नेटवर्क खोजना पड़ता है। गांव के लोगों को देश दुनिया की अपडेट जानकारी, उनके लिए बनी योजनाओं की इंटरनेट के अभाव में जानकारी नहीं मिल पाती। आदिवासी बच्चों के लिए रहटगांव में खुले एकलव्य आवासीय स्कूल और टिमरनी, सिराली, रहटगांव के कॉलेज व सरकारी अस्पताल में 40 फीसदी स्टाफ की कमी है।