मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार नहर टूटने की जानकारी स्थानीय प्रशासन को दी गई जिसके बाद नहर को बंद कर दिया गया। परन्तु इसके बाद भी अगले कई घंटों तक खेतों में पानी जाता रहा जिसकी वजह से 500 एकड़ से भी ज्यादा एरिया में फसल नष्ट हो गई। किसानों ने बताया कि नहर सुबह तीन बजे टूट गई थी जिसकी जानकारी देने के बाद भी आठ बजे तक भी नहर विभाग के अधिकारी तथा कर्मचारी पीएलसी नहर के टूट स्थान पर नहीं पहुंचे जिसकी वजह से किसानों को नुकसान हो गया। किसानों ने सरकार से नष्ट हुई फसल के मुआवजे की मांग की है।
किसानों के अनुसार टोहाना के सिरसा सिधमुख नहर से सनियाना हेड से पाबड़ा की जाने वाली पीएलसी नहर टूट गई थी। नहर किनाला गांव में टूटी थी और उस स्थान पर कई दिनों से लगातार पानी का रिसाव हो रहा था। प्रशासन को जानकारी देने के बाद भी लापरवाही की गई जिसके चलते बहुत से किसानों का नुकसान हुआ।