पंचनामा बनाया, तब जाकर माने परिजन
महिला सशक्तिकरण विभाग के सीडीपीओ प्रमोद गौर ने बालिका के परिजनों को बाल विवाह नहीं कराने के संबंध में समझाइश दी। फिर भी बात न बनी तो चेतावनी देकर पंचनामा बनाया। तब वे विवाह नहीं करने के लिए राजी हुए। इधर, केसला के धांसई में रहने वाली एक १७ वर्षीय किशोरी और पिपरिया के पास डापका गांव में रहने वाली १५ वर्षीय किशोरी की शादी बुधवार को अक्षय तृतीया पर होने वाली थी। आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और ग्रामीणों से मिली सूचना के बाद बाल विवाह होने से रोका गया। परिजनों को समझाइश दी और पंचनामा बनाया गया।
चला रहे हंै अभियान
महिला सशक्तिकरण अधिकारी सतीश भार्गव ने बताया कि बाल विवाह रोकने लाडो अभियान चलाया जा रहा है। इटारसी की एक किशोरी ने खुद की शादी रुकवाने के लिए कलेक्टर को पत्र लिखा था। बालिकाओं की जागरुकता से कई मामलों में बाल विवाह होने से रोका गया।
जागरुकता से रुके बाल विवाह
पिछले ५ साल में बाल विवाह के ६१ और इस साल अभी तक चार मामले सामने आए हैं। इनमें ज्यादातर ऐसे मामले हैं जिनमें खुद किशोरी बालिकाओं ने पहल करके खुद को बाल विवाह की बेडियों से आजाद कराया।
महिला सशक्तिकरण विभाग के सीडीपीओ प्रमोद गौर ने बालिका के परिजनों को बाल विवाह नहीं कराने के संबंध में समझाइश दी। फिर भी बात न बनी तो चेतावनी देकर पंचनामा बनाया। तब वे विवाह नहीं करने के लिए राजी हुए। इधर, केसला के धांसई में रहने वाली एक १७ वर्षीय किशोरी और पिपरिया के पास डापका गांव में रहने वाली १५ वर्षीय किशोरी की शादी बुधवार को अक्षय तृतीया पर होने वाली थी। आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और ग्रामीणों से मिली सूचना के बाद बाल विवाह होने से रोका गया। परिजनों को समझाइश दी और पंचनामा बनाया गया।
चला रहे हंै अभियान
महिला सशक्तिकरण अधिकारी सतीश भार्गव ने बताया कि बाल विवाह रोकने लाडो अभियान चलाया जा रहा है। इटारसी की एक किशोरी ने खुद की शादी रुकवाने के लिए कलेक्टर को पत्र लिखा था। बालिकाओं की जागरुकता से कई मामलों में बाल विवाह होने से रोका गया।
जागरुकता से रुके बाल विवाह
पिछले ५ साल में बाल विवाह के ६१ और इस साल अभी तक चार मामले सामने आए हैं। इनमें ज्यादातर ऐसे मामले हैं जिनमें खुद किशोरी बालिकाओं ने पहल करके खुद को बाल विवाह की बेडियों से आजाद कराया।
पांच साल में ६१ मामले
वर्ष २०१७ – 10
वर्ष २०१६ – १०
वर्ष २०१५ – १४
वर्ष २०१४ – १३
वर्ष २०१३ – १४
वर्ष २०१७ – 10
वर्ष २०१६ – १०
वर्ष २०१५ – १४
वर्ष २०१४ – १३
वर्ष २०१३ – १४