रोजाना होगी दर्ज नंबरों की समीक्षा : अपडेट मोबाइल नंबर के संबंध में अब अधिकारियों द्वारा रोजाना इसकी समीक्षा की जाएगी। संयुक्त संचालक लोकशिक्षण, डीईओ, डीपीसी व एडीपीसी द्वारा रोजाना न्यूनतम १० मोबाइल नंबरों की समीक्षा की जाएगी। इस बात का पता लगाया जाएगा की संबंधित शिक्षक या कर्मचारी एप का उपयोग कर रहे हैं या नहीं। उपयोग नहीं होने की स्थिति में संबंधित कर्मचारी पर भी कार्रवाई की जाएगी।
पहली बार नेट कनेक्टिविटी जरूरी
शिक्षकों को आ रही तकनीकी समस्या को दूर करने के लिए एम शिक्षामित्र एप को भी अपडेट किया गया है। अब एप को इंस्टॉल करने के लिए ही नेट कनेक्टिविटी जरूरी होगी। इसके बाद कर्मचारी बिना नेट के भी उपस्थिति दर्ज कर पाएंगे। हालांकि नेटवर्क क्षेत्र में आने के बाद ऑफलाइन दर्ज की गई उपस्थिति स्वत: ही ऑनलाइन हो जाएगी। अवकाश संबंधी मामले में शिक्षकों को एप के साथ ही ऑफलाइन भी आवेदन प्रस्तुत करना होगा।
शिक्षकों को आ रही तकनीकी समस्या को दूर करने के लिए एम शिक्षामित्र एप को भी अपडेट किया गया है। अब एप को इंस्टॉल करने के लिए ही नेट कनेक्टिविटी जरूरी होगी। इसके बाद कर्मचारी बिना नेट के भी उपस्थिति दर्ज कर पाएंगे। हालांकि नेटवर्क क्षेत्र में आने के बाद ऑफलाइन दर्ज की गई उपस्थिति स्वत: ही ऑनलाइन हो जाएगी। अवकाश संबंधी मामले में शिक्षकों को एप के साथ ही ऑफलाइन भी आवेदन प्रस्तुत करना होगा।
एप पर लगेगी डॉक्टर्स की हाजिरी, लोकेशन भी होगी दर्ज
होशंगाबाद. जिले के डॉक्टर्स अब अपनी हाजिरी एप के जरिए लगाएंगे। हाजिरी एप में दर्ज होते ही जीपीएस उस लोकेशन को भी दर्ज करेगा, जहां पर डॉक्टर मौजूद है। इतना ही नहीं भ्रमण के दौरान भी डॉक्टर्स इस एप के जरिए हाजरी लगा सकेंगे। भ्रमण के दौरान लिए गए फोटो और वीडियो को इस एप में अपलोड भी करेंगे। इस एप का प्रयोग अभी होशंगाबाद में पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर किया जा रहा है। अगर यह प्रयोग सफल रहा तो पूरे प्रदेश में इसे एक साथ लागू किया जाएगा। स्वास्थ्य विभाग के एनएचएम के डीपीएम डॉ.दीपक डेहरिया ने बताया कि एनएचएम और रेगुलर के डॉक्टरों की सूची को स्वास्थ्य विभाग के आईओसी डिप्टी कलेक्टर अभिषेक गहलोत के पास भेजा जा रहा है। जहां से सूची को तैयार कर एप में डॉक्टरों के नाम हाजिरी के लिए दर्ज कराएं जाएंगे।
होशंगाबाद. जिले के डॉक्टर्स अब अपनी हाजिरी एप के जरिए लगाएंगे। हाजिरी एप में दर्ज होते ही जीपीएस उस लोकेशन को भी दर्ज करेगा, जहां पर डॉक्टर मौजूद है। इतना ही नहीं भ्रमण के दौरान भी डॉक्टर्स इस एप के जरिए हाजरी लगा सकेंगे। भ्रमण के दौरान लिए गए फोटो और वीडियो को इस एप में अपलोड भी करेंगे। इस एप का प्रयोग अभी होशंगाबाद में पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर किया जा रहा है। अगर यह प्रयोग सफल रहा तो पूरे प्रदेश में इसे एक साथ लागू किया जाएगा। स्वास्थ्य विभाग के एनएचएम के डीपीएम डॉ.दीपक डेहरिया ने बताया कि एनएचएम और रेगुलर के डॉक्टरों की सूची को स्वास्थ्य विभाग के आईओसी डिप्टी कलेक्टर अभिषेक गहलोत के पास भेजा जा रहा है। जहां से सूची को तैयार कर एप में डॉक्टरों के नाम हाजिरी के लिए दर्ज कराएं जाएंगे।