एसडीओपी एसएस पटेल ने बताया कि शुक्रवार सुबह करीब ४ बजे दो बाइक पर सवार होकर आरोपी इमलेश राय, विष्णु शर्मा, मनीष भाट और पवन सिकरवार निवासी होशंगाबाद नेशनल हाईवे पर संचालित सुरेन्द्र सिंह के ढाबा ‘यादव श्री होटलÓ पर खाना खाने पहुंचे। ढाबे पर पहले चारों ने जमकर शराब पी और फिर खाना खाया। खाना खाने के बाद जब जाने लगे तो मैनेजर अशरफ खान ने पैसे मांगे। इस बात पर आरोपियों ने मैनेजर से झगड़ा शुरू कर दिया। इस बीच होटल पर सो रहे मालिक बजरंग दल के नेता सुरेन्द्र यादव की नींद खुल गई। यादव ने आकर जब पैसे मांगे तो हाथापाई हो गई और खुद पर हमला होते देख चारों आरोपी बाइक छोड़ पार्वती पुलिस की तरफ भागे, लेकिन सुरेन्द्र यादव को पीछे दौड़ते देख उन्होंने इटारसी से शराब करोबारी के यहां काम करने वाले अपने साथियों को फोन कर बुला लिया। कार में सवार होकर आए चार व्यक्तियों ने मौके पर पहुंचकर पीछे से एक रॉड से सुरेन्द्र यादव पर हमला कर दिया, जिससे उसकी मौत हो गई। पुलिस ने ढ़ाबा मैनेजर अषशफ खान की रिपोर्ट पर आरोपी इमलेश राय, विष्णु शर्मा, मनीष भाट, पवन सिकरवार और कार में सवार होकर आए आरोपी देवेन्द्र शर्मा, दिलीप मकवाना व दो अन्य के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज कर कर लिया है।
पुलिस ने पहुंचाया अस्पताल, अस्पताल में मौत लोहे की रॉड से यादव के सिर में गंभीर चोट लगी। सिर के खून बहते देख होटल के कर्मचारियों ने तत्काल पुलिस को सूचना दी। पुलिस ने डायल १०० से तत्काल गंभीर रूप से घायल सुरेन्द्र को बुदनी अस्पताल पहुंचाया, जहां से प्राथमिक उपचार के बाद उसे होशंगाबाद रेफर कर दिया, जहां पर उसकी मौत हो गई। पुलिस ने पोस्टमार्टम के बाद मृतक का शव परिजन के सुपुर्द कर दिया है। एसडीओपी ने बताया कि पुलिस मामले की गंभीरता से जांच कर रही है, छह आरोपी गिरफ्तार कर लिए हैं।
दो आरोपी खुद पहुंचे थे थाने
एसडीओपी ने बताया कि पार्वती पुल के पास यादव पर हमला करने के बाद आरोपी इमलेश राय, विष्णु शर्मा खुद ही विवाद की एफआईआर लिखाने के लिए थाने पहुंच गए थे। तब आरोपियों को यह नहीं पता था कि यादव की मौत हो गई है, लेकिन रिपोर्ट लिखने के लिए पुलिस ने जैसे ही मामले की तस्दीक की, सामने आया कि यादव पर हमला तो इन्हीं ने किया हैै। इसके बाद पुलिस ने दोनों को गिरफ्तार कर लिया।
एसडीओपी ने बताया कि पार्वती पुल के पास यादव पर हमला करने के बाद आरोपी इमलेश राय, विष्णु शर्मा खुद ही विवाद की एफआईआर लिखाने के लिए थाने पहुंच गए थे। तब आरोपियों को यह नहीं पता था कि यादव की मौत हो गई है, लेकिन रिपोर्ट लिखने के लिए पुलिस ने जैसे ही मामले की तस्दीक की, सामने आया कि यादव पर हमला तो इन्हीं ने किया हैै। इसके बाद पुलिस ने दोनों को गिरफ्तार कर लिया।
शराब कारोबारी की भूमिका भी संदिग्ध अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक समीर यादव ने बताया कि हत्या में इटारसी के शराब कारोबारी सुनील गुप्ता की भूमिका भी संदिग्ध बताई जा रही है। मृतक सुरेन्द्र यादव के परिजन ने अपने बयान में बताया है कि हत्या के पीछे शराब कारोबारी का हाथ है, हमला करने के लिए गुंड़े उसी ने भेजे थे। एएसपी यादव का तर्क है कि पुलिस बयानों के आधार पर कार्रवाई करेंगी। सुनील गुप्ता को भी जांच के बाद आरोपी बनाया जाएगा।
मैं न तो सुरेंद्र यादव को जानता हूं और न ही मेरा उनसे कोई संपर्क था। मैं अपने घर पर था। मेरे कर्मचारी रात में ढाबे पर क्यों गए मुझे भी इसकी जानकारी नहीं है। मुझे सुबह झगड़े का पता चला। मेरा इस झगड़े से कोई लेनादेना नहीं है। मैं जांच में पुलिस को पूरा सहयोग करने के लिए तैयार हूं।
सुनील गुप्ता, शराब ठेकेदार शराब बेचने का डाल रहे थे दबाव
मृतक सुरेंद्र के परिजनों आरोप है कि शराब ठेकेदार सुनील गुप्ता उस पर शराब बेचने के लिए दबाव डाल रहा था। सुरेंद्र व्दारा मना कर देने पर आज सुबह कर्मचारियों को भेजकर झगड़ा मारपीट कर हत्या की है। परिजनों ने शराब ठेकेदार गुप्ता पर भी केस दर्ज करने की मांग की है।
मृतक सुरेंद्र के परिजनों आरोप है कि शराब ठेकेदार सुनील गुप्ता उस पर शराब बेचने के लिए दबाव डाल रहा था। सुरेंद्र व्दारा मना कर देने पर आज सुबह कर्मचारियों को भेजकर झगड़ा मारपीट कर हत्या की है। परिजनों ने शराब ठेकेदार गुप्ता पर भी केस दर्ज करने की मांग की है।