पुलिसकर्मियों के तकलीफ की अनदेखी
होशंगाबादPublished: Jun 01, 2015 11:33:00 pm
शहर की इकलौती पुलिस कॉलोनी
मप्र पुलिस हाउसिंग कॉर्पोरेशन की अनदेखी का शिकार है।
इटारसी।शहर की इकलौती पुलिस कॉलोनी मप्र पुलिस हाउसिंग कॉर्पोरेशन की अनदेखी का शिकार है। कॉलोनी में नाली, सफाई और अन्य मूलभूत सुविधाओं की कमी होने से पुलिसकर्मी नारकीय जिंदगी बसर करने को मजबूर हैं।
पुलिस विभाग में आने वाला हर अफसर कॉलोनी के लिए कुछ करने की बात कहता है और उसके बाद कॉलोनी की तरफ से आंख मूंद लेता है। मूलभूत सुविधाओं के अभाव में पुलिसकर्मी परेशानी के बीच अपना समय काट रहे हैं। एमजीएम कॉलेज के सामने स्थित कॉलोनी के लिए पुलिस हाउसिंग कॉर्पोरेशन ने आज तक कोई बड़ा बजट का प्रावधान नहीं किया है ताकि कॉलोनी की सूरत बदल सके। कुछ माह पहले जीआरपी को करीब 5 लाख रूपए की राशि मिली थी मगर समस्याओं के मुकाबले राशि ऊंट के मुंह में जीरा होने से उसका उपयोग ही नही हो पा रहा है।
नपा के रिकार्ड से गायब
यह कॉलोनी नपा के राजस्व रिकार्ड में नहीं है। इसके मेंटनेंस का जिम्मा मप्र पुलिस हाउसिंग कॉर्पोरेशन के पास है। नपा को इस कॉलोनी से राजस्व के रूप में कोई टैक्स नहीं मिल रहा है इसलिए कॉलोनी बनने के बाद से ही नपा ने कभी कॉलोनी को अपनी प्राथमिकता में नहीं रखा है। दो विभागों की खींचतान में इस कॉलोनी में पानी निकासी सिस्टम, पार्क आदि की व्यवस्था नहीं हुई जिससे अब यह कॉलोनी अपने आप में ही समस्या बन गई है।
करीब 135 हैं क्वार्टर
पुलिस कॉलोनी में सिटी पुलिस और जीआरपी के जवानों के लिए मप्र पुलिस हाउसिंग कॉर्पोरेशन ने वर्ष 1980 के आसपास पुलिस कॉलोनी की स्थापना की थी। इस कॉलोनी में सिटी पुलिस के जवानों के साथ ही जीआरपी में सेवा देने वाले आरक्षकों के लिए अलग क्वार्टर बने थे। सिटी पुलिस के लिए करीब 35 और जीआरपी के लिए करीब 100 क्वार्टर निर्मित किए गए थे। कॉलोनी बनाने के बाद उसकी अधोसंरचना विकसित करने पर कोई ध्यान नहीं दिया गया।
पुलिस कॉलोनी नगर पालिका के अधिपत्य में देने के लिए पत्राचार करेंगे। वैसे वहां लोगो की मांग के अनुरूप समय-समय पर नगर पालिका काम कराती रहती है ताकि लोगों को परेशानी न उठाना पड़े। कॉलोनी के लिए प्लानिंग कर रहे हैं। – सुरेश दुबे, सीएमओ
पुलिस कॉलोनी की समस्याओं को हल करने के लिए हम पुलिस हाउसिंग कॉर्पोरेशन से चर्चा करेंगे। हमारा प्रयास होगा कि कॉलोनी में मूलभूत सुविधा के लिए बजट की व्यवस्था हो जाए। कार्पोरेशन ने बजट भी दिया था। इसकी जानकारी ली जाएगी। – अवधेशपुरी गोस्वामी, एसपी रेल