इस तरह बचेंगे डेढ़ अरब रुपए
इटारसी से जबलपुर तक 245 किलोमीटर रेल रूट पर डीजल इंजन के स्थान पर इलेक्ट्रिक इंजन चलने के कारण रेलवे का डीजल पर खर्च होने वाला सालाना 150 करोड़ रुपए की बचत भी होगी। वहीं डीजल इंजन से निकलने वाले धुंए के कारण पर्यावरण प्रदूषण से भी मुक्ति मिलेगी। रेल अफसरों के अनुसार जनवरी में सीआरएस के निरीक्षण के बाद इंजन चलने लगेंगे।
पश्चिम मध्य रेलवे की मुख्य जनसंपर्क अधिकारी गुंजन गुप्ता के अनुसार भारतीय रेल के रेलमार्ग को 100 प्रतिशत विद्युतीकृत करने रेल मंत्रालय द्वारा मिशन इलेक्ट्रिफिकेशन शुरु किया है, जिसे 2021 तक कार्य पूर्ण करने का लक्ष्य रखा है।
इटारसी से जबलपुर तक 245 किलोमीटर रेल रूट पर डीजल इंजन के स्थान पर इलेक्ट्रिक इंजन चलने के कारण रेलवे का डीजल पर खर्च होने वाला सालाना 150 करोड़ रुपए की बचत भी होगी। वहीं डीजल इंजन से निकलने वाले धुंए के कारण पर्यावरण प्रदूषण से भी मुक्ति मिलेगी। रेल अफसरों के अनुसार जनवरी में सीआरएस के निरीक्षण के बाद इंजन चलने लगेंगे।
पश्चिम मध्य रेलवे की मुख्य जनसंपर्क अधिकारी गुंजन गुप्ता के अनुसार भारतीय रेल के रेलमार्ग को 100 प्रतिशत विद्युतीकृत करने रेल मंत्रालय द्वारा मिशन इलेक्ट्रिफिकेशन शुरु किया है, जिसे 2021 तक कार्य पूर्ण करने का लक्ष्य रखा है।
यह भी होगा लाभ
रेलवे को रुपए की बचत के साथ अन्य परिचालन लाभ जैसे गाडिय़ों की गति में वृद्धि, लोको बदलने में लगने वाले समय में कमी से यात्रियों को लाभ होगा। इस कार्य को पूर्ण करने में पश्चिम मध्य रेलवे तथा केन्द्रीय रेल विद्युतीकरण संगठन (कोर) के अधिकारियों तथा कर्मचारियों ने संयुक्त प्रयास किया है। पिपरिया-जबलपुर खंड का विद्युतीकरण इटारसी-मानिकपुर-इलाहबाद विद्युतीकरण प्रोजेक्ट का भाग है, जिस पर केन्द्रीय रेल विद्युतीकरण संगठन (कोर) द्वारा विद्युतीकरण का कार्य करवाया जा रहा है।
रेलवे को रुपए की बचत के साथ अन्य परिचालन लाभ जैसे गाडिय़ों की गति में वृद्धि, लोको बदलने में लगने वाले समय में कमी से यात्रियों को लाभ होगा। इस कार्य को पूर्ण करने में पश्चिम मध्य रेलवे तथा केन्द्रीय रेल विद्युतीकरण संगठन (कोर) के अधिकारियों तथा कर्मचारियों ने संयुक्त प्रयास किया है। पिपरिया-जबलपुर खंड का विद्युतीकरण इटारसी-मानिकपुर-इलाहबाद विद्युतीकरण प्रोजेक्ट का भाग है, जिस पर केन्द्रीय रेल विद्युतीकरण संगठन (कोर) द्वारा विद्युतीकरण का कार्य करवाया जा रहा है।
बकाया सेक्शन जल्द होगा इलेक्ट्रिीफाइड
पिपरिया से इटारसी तक का करीब 67 किमी का हिस्सा जल्द ही इलेक्ट्रिीफाइड होगा। जनवरी में मुख्य संरक्षा आयुक्त सेक्शन का निरीक्षण करेंगे। इस दौरान ओएचई लाइन में करंट सप्लाई और इंजन चलाने की ट्रॉयल होगी। यह ट्रॉयल सफल होने के बाद इटारसी से जबलपुर तक के सेक्शन को इलेक्ट्रिीफाइड घोषित कर दिया जाएगा और इलेक्ट्रिक इंजनों से ट्रेनों का संचालन चालू हो जाएगा जिससे ईंधन पर होने वाली करीब 150 करोड़ की सालाना बचत होगी।
पिपरिया से इटारसी तक का करीब 67 किमी का हिस्सा जल्द ही इलेक्ट्रिीफाइड होगा। जनवरी में मुख्य संरक्षा आयुक्त सेक्शन का निरीक्षण करेंगे। इस दौरान ओएचई लाइन में करंट सप्लाई और इंजन चलाने की ट्रॉयल होगी। यह ट्रॉयल सफल होने के बाद इटारसी से जबलपुर तक के सेक्शन को इलेक्ट्रिीफाइड घोषित कर दिया जाएगा और इलेक्ट्रिक इंजनों से ट्रेनों का संचालन चालू हो जाएगा जिससे ईंधन पर होने वाली करीब 150 करोड़ की सालाना बचत होगी।