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बिचौलिए रहे लॉकडाउन…कोरोना से जंग के बीच बना यह नया रिकार्ड

locationहोशंगाबादPublished: May 27, 2020 01:52:02 am

छलका गेहूं का कटोरा: प्रदेश में अव्वल आया होशंगाबाद
 

Food department instructions ... Action will be taken on sharing of bad wheat, so make a panchnama and return it

Food department instructions … Action will be taken on sharing of bad wheat, so make a panchnama and return it

मनोज कुंडू. इटारसी. मध्यप्रदेश के कई जिले कोरोना से जूझ रहे हैं। इसी बीच कोरोना को मात देते हुए होशंगाबाद जिला न केवल ग्रीन जोन में पहुंचा बल्कि सबसे ज्यादा गेहूं खरीदने का रिकार्ड भी बना लिया। इसकी एक बड़ी वजह यह भी है कि लॉकडाउन की वजह से इस बार बिचौलिए खरीदी नहीं कर सके। किसानों के पास खरीदी केंद्रों पर उपज बेचने के अलावा कोई दूसरा विकल्प भी नहीं था। जिले में 290 केंद्रों पर समर्थन मूल्य पर गेहूं 70 हजार 750 किसानों से 8 लाख 95 हजार 268 मीट्रिक टन गेहूं खरीदा गया। जिसमें से 94 प्रतिशत गेहूं का परिवहन भी किया जा चुका है। इस साल समर्थन मूल्य पर गेहूं बेचने के लिए जिले में ७६ हजार किसानों ने पंजीयन कराया था।
3 लाख 8 हजार हेक्टेयर में हुई थी बोवनी-

जिले में इस वर्ष 3 लाख आठ हजार हेक्टेयर में गेहूं की फसल लगाई गई थी। कृषि उपसंचालक जितेंद्र ङ्क्षसह ने बताया कि मौसम अच्छा होने से प्रति हेक्टेयर लगभग 50 क्विंटल तक उत्पादन हुआ। पिछले साल प्रति हेक्टेयर 48 क्विंटल पैदावार हुई थी।
ये हैं प्रदेश के टॉप-10 जिले…
जिला- किसान -गेहूं मात्रा -परिवहन

होशंगाबाद – 70750 895268 846153
विदिशा – 64991 649362 568547

सीहोर -72849 643742 546434
रायसेन – 61004 619894 504434

उज्जैन – 76647 540802 369269
हरदा – 40621 494666 455490
सागर -63946 455963 357391
जबलपुर -35325 409940 384933
सिवनी – 45085 397741 242248
देवास – 47074 316841 281130

(गेहंू खरीदी और परिवहन की मात्रा मीट्रिक टन में।)
बड़ी वजह : सादगी से हुए मांगलिक कार्यक्रम-
लॉकडाउन की वजह से मांगलिक कार्यक्रम भी न के बराबर हुए। जो हुए वह सादगी में। इसलिए किसानों को बड़ी रकम की जरूरत नहीं पड़ी। उन्नत कृषक विजय चौधरी, हेमंत दुबे ने कहा कि गेहूं कटाई और शादियों का सीजन एक साथ रहता है। किसान को मांगलिक कार्यक्रम के लिए बड़ी राशि की जरूरत होती है, इसलिए वह बिचौलियों को नगद में उपज बेच देते हैं। इस बार लॉकडाउन से यह सब नहीं हुआ।
इनका कहना है…
कोरोना संक्रमण के खतरे के बीच इस वर्ष खरीदी की गई। किसानों के लिए बनाई गई गाइडलाइन से काफी मदद मिली। सभी के प्रयासों से रिकार्ड खरीदी की गई।
-अनिल तंतुवाय, जिला सहायक आपूर्ति अधिकारी होशंगाबाद
किसानों की जागरुकता और मौसम अच्छा होने से उत्पादन शानदार रहा। मूंग की खेती भी १ लाख ८२ हजार हेक्टेयर में हो रही है। ६० दिन की इस फसल से भी किसानों को करीब २ हजार करोड़ रुपए मिलेंगे।
-जितेंद्र ङ्क्षसह, कृषि उपसंचालक होशंगाबाद

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