हर काम के लिए होता है शुभ मुहूर्त
वैसे तो भाई की कलाई पर बहन के राखी बांधने का कोई मुहुर्त नहीं होता, वे जब उन्हें राखी बांध दें तभी मुहुर्त अच्छा मान लिया जाता है। मगर शास्त्रों के अनुसार हर शुभ काम करने से पहले शुभ मुहुर्त को निर्धारित किया जाता है और व्यक्ति को उसी के अनुसार शुभ काम करने चाहिए। ऐसा करने से भाई-बहन के बीच प्यार और अपनापन बना रहता है।
ये है शुभ मुहूर्त
हर साल रक्षा बंधन पर राखी बांधने के शुभ मुहूर्त को तलाशा जाता है। लेकिन इस बार सावन के महीने में रक्षाबंधन होने की वजह से इसका शुभ मुहुर्त 26 अगस्त की सुबह 5:59 से लेकर दोपहर 3:37 बजे तक रहेगा। इस शुभ मुहुर्त पर अगर आप अपने भाई की कलाई पर राखी बांधेंगी तो ये आप दोनों के लिए बहुत शुभ होगा।
वैसे तो भाई की कलाई पर बहन के राखी बांधने का कोई मुहुर्त नहीं होता, वे जब उन्हें राखी बांध दें तभी मुहुर्त अच्छा मान लिया जाता है। मगर शास्त्रों के अनुसार हर शुभ काम करने से पहले शुभ मुहुर्त को निर्धारित किया जाता है और व्यक्ति को उसी के अनुसार शुभ काम करने चाहिए। ऐसा करने से भाई-बहन के बीच प्यार और अपनापन बना रहता है।
ये है शुभ मुहूर्त
हर साल रक्षा बंधन पर राखी बांधने के शुभ मुहूर्त को तलाशा जाता है। लेकिन इस बार सावन के महीने में रक्षाबंधन होने की वजह से इसका शुभ मुहुर्त 26 अगस्त की सुबह 5:59 से लेकर दोपहर 3:37 बजे तक रहेगा। इस शुभ मुहुर्त पर अगर आप अपने भाई की कलाई पर राखी बांधेंगी तो ये आप दोनों के लिए बहुत शुभ होगा।
अच्छे मिलेंगे परिणाम
ऐसा माना जाता है कि अगर आप अशुभ समय पर राखी को बांधते हैं तो इसका कुछ दूसरा ही परिणाम आपके जीवन में आ सकता है। इसलिए इस अशुभ समय में राखी बांधने का प्रयास बिल्कुल भी ना करें। इस अशुभ काल का समय होगा राहुकाल- शाम 4:30 बजे से शाम 6:00 बजे तक या यम घंटा दोपहर 3:38 से 5:13 बजे तक।
नहीं रहेगी भद्रा
इस बार रक्षाबंधन पर भद्रा काल का साया नहीं होगा। भद्राकाल में राखी बांधना अशुभ माना जाता है। इस साल राखी की सबसे खास बात यही है कि भद्राकाल सूर्य उदय होने से पहले ही समाप्त हो जाएगा और ऐसा 37 सालों के बाद होने जा रहा है।
ऐसा माना जाता है कि अगर आप अशुभ समय पर राखी को बांधते हैं तो इसका कुछ दूसरा ही परिणाम आपके जीवन में आ सकता है। इसलिए इस अशुभ समय में राखी बांधने का प्रयास बिल्कुल भी ना करें। इस अशुभ काल का समय होगा राहुकाल- शाम 4:30 बजे से शाम 6:00 बजे तक या यम घंटा दोपहर 3:38 से 5:13 बजे तक।
नहीं रहेगी भद्रा
इस बार रक्षाबंधन पर भद्रा काल का साया नहीं होगा। भद्राकाल में राखी बांधना अशुभ माना जाता है। इस साल राखी की सबसे खास बात यही है कि भद्राकाल सूर्य उदय होने से पहले ही समाप्त हो जाएगा और ऐसा 37 सालों के बाद होने जा रहा है।