Farmers Protest: दिल्ली पुलिस ने जहां लगाई थी कीलें, वहां फूल लगाने जा रहे हैं किसान, मंगवाई गई दो ट्रक मिट्टी UP-उत्तराखंड में कल नहीं होगा ‘चक्का जाम’, राकेश टिकैत ने बताई ये वजह
फसल वापिस ले जाने के लिए नहीं बचे थे पैसे
मोहम्मद सलीम ने बताया कि उसके पास आधा एकड़ जमीन है जिसमें उसने फूलगोभी की खेती की थी। इस खेती में बीज, सिंचाई, खाद आदि पर 8,000 रुपए खर्च हुए थे। इसके बाद तैयार फसल को खेत से मंडी तक लाने में करीब 4,000 रुपए खर्च हुए। उसने कहा कि जब बाजार में फूलगोभी 12 से 15 रुपए किलो बिक रही है, तब मंडी में उसकी फसल की बोली केवल एक रुपया प्रति किलो ही लगाई गई। ऐसे में उसके पास इतने पैसे भी नहीं बचे कि वो फसल को वापिस ले जा सके। इसलिए उसने पूरी फसल को मंडी में ही पटक दिया।
मोहम्मद सलीम ने बताया कि उसके पास आधा एकड़ जमीन है जिसमें उसने फूलगोभी की खेती की थी। इस खेती में बीज, सिंचाई, खाद आदि पर 8,000 रुपए खर्च हुए थे। इसके बाद तैयार फसल को खेत से मंडी तक लाने में करीब 4,000 रुपए खर्च हुए। उसने कहा कि जब बाजार में फूलगोभी 12 से 15 रुपए किलो बिक रही है, तब मंडी में उसकी फसल की बोली केवल एक रुपया प्रति किलो ही लगाई गई। ऐसे में उसके पास इतने पैसे भी नहीं बचे कि वो फसल को वापिस ले जा सके। इसलिए उसने पूरी फसल को मंडी में ही पटक दिया।
सब्जियों पर लागू नहीं होता MSP का नियम
इस पूरे मुद्दे पर बोलते हुए मंडी के सचिव विजिल बालियान ने कहा कि सब्जियों के खरीद मूल्य के संबंध में हम कोई नियम लागू नहीं कर सकते क्योंकि सब्जियों के लिए सरकार की ओर से न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) का नियम लागू नहीं होता है। ऐसे में फल और सब्जियां पूरी तरह से मार्केट में सप्लाई और डिमांड के अनुपात में ही खरीदी और बेची जाती है। हालांकि व्यापारी ज्यादा से ज्यादा लाभ कमाने के लिए किसानों को ऊंची दरों पर सब्जी बेचने से हतोत्साहित करने का प्रयास करते हैं।
इस पूरे मुद्दे पर बोलते हुए मंडी के सचिव विजिल बालियान ने कहा कि सब्जियों के खरीद मूल्य के संबंध में हम कोई नियम लागू नहीं कर सकते क्योंकि सब्जियों के लिए सरकार की ओर से न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) का नियम लागू नहीं होता है। ऐसे में फल और सब्जियां पूरी तरह से मार्केट में सप्लाई और डिमांड के अनुपात में ही खरीदी और बेची जाती है। हालांकि व्यापारी ज्यादा से ज्यादा लाभ कमाने के लिए किसानों को ऊंची दरों पर सब्जी बेचने से हतोत्साहित करने का प्रयास करते हैं।