सरकार के खिलाफ नाराजगी व्यक्त की
कन्हैया कुमार गुलबर्गा विश्वविद्यालय में मंगलवार को होने वाले व्याख्यान कार्यक्रम में भाग लेने के लिए कलबुर्गी आए थे परन्तु व्याख्यान कार्यक्रम को विश्वविद्यालय ने अचानक रद्द कर दिया। कार्यक्रम रद्द होने के चलते पत्रकारों से बातचीत करते हुए कन्हैया कुमार कुमार ने राज्य सरकार, भाजपा तथा केंद्र सरकार के खिलाफ नाराजगी व्यक्त की।मेडिकल कालेज का निर्माण किया होता
उन्होंने कहा कि सरदार वल्लभभाई पटेल ने खुद के लिए एक घर का निर्माण भी नहीं किया। घर का निर्माण करने पर कहीं लोगों को घर निर्माण के लिए धन की कमी न हो उन्हें यह भय था। दूसरी ओर भाजपा सरकार ने सरदार पटेल के नाम पर तीन हजार करोड़ रुपए खर्च कर स्मारक का निर्माण किया है। अब सरदार होते तो उनकी स्थिति क्या होती पता नहीं है। केवल तीन सौ करोड़ रुपए खर्च कर एक मेडिकल कालेज का निर्माण किया होता तो हजारों गरीब विद्यार्थी शिक्षा प्राप्त कर सकते थे।मोदी ने निजी कम्पनियों को फायदा पहुंचाया
कन्हैया कुमार ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी विदेशों में गौतम बुद्ध कहते हैं, भारत लौटते ही युध्द कहते हैं। सार्वजनिक उद्योगों को एक एक कर निजी क्षेत्रों को हस्तांतरित कर रहे हैं। पूर्व में पेट्रोलियम उद्योग से रिलायंस दूर हट गया था लेकिन अब भारत पेट्रोलियम निजी क्षेत्र को सौंपने का मोदी का बयान आते ही रिलायंस भारत पेट्रोलियम को खरीदने के लिए आगे आ गया है। यह नीति क्या बताती है।देशद्रोही का तमगा थमाया जा रहा
गुलबर्गा विश्वविद्यालय में कार्यक्रम रद्द होने के बारे में कन्हैया कुमार ने कहा कि राज्य में भाजपा की सरकार सत्ता में है। सरकार के कहने पर ही गुलबर्गा विश्वविद्यालय ने कार्रवाई की है। पिछले साढ़े तीन वर्षों में वे जहां भी गए वहां कार्यक्रम पर प्रतिबंध लगाया जा रहा है। कलबुर्गी में भी वही हुआ है। छात्रों ने आह्वान किया था इसलिए व्याख्यान देने आया था। संविधान ने ही हमें बोलने की आजादी दी है यह मौलिक अधिकार है। इसे हमसे छीना जा रहा है। भारत में दलितों, पिछड़ों तथा अल्पसंख्यकों के अधिकारों का दमन किया जा रहा है। सरकार के खिलाफ कोई बात कहने पर देशद्रोही का तमगा थमाया जा रहा है।