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रेल मंत्री के फरमान से हड़कंप, ट्रेनें हुईं लेट तो अधिकारियों को नहीं मिलेगा प्रमोशन

locationनई दिल्लीPublished: Jun 03, 2018 01:40:46 pm

ट्रेनों को समय पर चलाने के लिए रेलवे अब ऐसा कदम उठाने जा रहा है जिससे परिचालन समय सारिणी के अनुसार होने की संभावना है

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रेल मंत्री के फरमान से हड़कंप, ट्रेने हुईं लेट तो अधिकारियों को नहीं मिलेगा प्रमोशन

नई दिल्ली। रेलों के परिचालन में देरी भारत में आम बात है। लेकिन अब यात्रियों को रेलों की लेट लतीफी से छुटकारा मिलने की उम्मीद है।ट्रेनों को अब समय पर चलने के लिए रेलवे अब ऐसा कदम उठाने जा रहा है जिससे रेलों का परिचालन उनके समय सारिणी के अनुसार होने की संभावना है। रेलवे के नए प्रस्ताव के अनुसार से अगर ट्रेने अपने टाइम टेबल से नहीं चलीं तो इसका खामियाजा उच्च पदस्थ रेल अधिकारियों को भुगतना होगा और इसके लिए उनका प्रमोशन रोका जा सकता है।
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रेल मंत्री की चेतावनी

रेल मंत्री पीयूष गोयल ने सभी जोनल रेलवे के प्रमुखों को चेतावनी दी है कि ट्रेन सेवाओं में देरी से उनके प्रमोशन को स्थगित कर दिया जाएगा।एजेंसी की खबरों के अनुसार पिछले हफ्ते एक बैठक के दौरान गोयल ने रेलवे प्रबंधकों से कहा कि वे ट्रेन सेवाओं में देरी की व्याख्या करने के अनर्गल कोशिश न करें। अगर वो ट्रेने समय पर चला नहीं सकते तो उन्हें प्रमोशन में नुक्सान उठाना पड़ेगा। रेल मंत्री ने कहा कि अधिकारियों को समय-समय पर सुधार करने के लिए एक महीने का वक्त दिया जाएगा। 30 जून तक यदि सुधार दिखाई नहीं देता है, तो संबंधित जीएम को पदोन्नति के लिए योग्य नहीं माना जाएगा। उन्होंने यह भी कहा कि अधिकारियों की प्रदर्शन रेटिंग इस बात पर निर्भर करेगी कि वे देरी से ट्रेने चलाने के मामले में वो कहां हैं।
देरी से छुटकारा नहीं रेलवे को

रेलवे की तमाम कोशिशों के बाद भी ट्रेनों की लेत-लतीफी पर अंकुश नहीं लग पा रहा है। वित्त वर्ष 2017-2018 में 30 प्रतिशत ट्रेनें चल रही थीं। इस बार भी यही हाल है। गर्मी में छुट्टियों पीक डिमांड के मौसम के बड़ी संख्या में ट्रेने लेत चल रही हैं। ट्रेनों के देर से चलने की समीक्षा के दौरान उत्तर रेलवे की ट्रेने सबसे अधिक देरी से चल रही थीं। इस क्षेत्र में 29 मई २०१८ तक लगभग ५० % ट्रेने देरी से चल रही थीं।
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बताया जा रहा है कि रेल मंत्री ने व्यक्तिगत रूप से हर क्षेत्रीय प्रमुख को बुलाया था। इससे पहले खुद रेल मंत्री को ट्रेनों की समयबद्धता पर प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी के सवालों का सामना करना पड़ा था।
धन की बर्बादी पर रेल मंत्री सख्त

बताया जा रहा है कि रेलवे परियोजनाओं में पैसे की भारी बर्बादी पर भी रेल मंत्री ने नाराजगी व्यक्त की है। रेल मंत्री ने कहा कि जो काम काम खर्चे में हो सकता है उस पर अधिक धन व्यय करना करप्शन मना जाएगा और संबंधित अधिकारी के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी ।
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