इन कॉलोनियों को परेशानी
संजना पार्क, चमेली विला, शालीमार फॉर्म, एसएस रिजेंसी, मिलन हाइट्स, एवर शाइन कॉलोनी, सार्थक स्ट्रीट, श्रीराम एनक्लेव, नींव रिजेंसी, आरव टॉवर, दुर्गा नगर, श्री अग्रवाल नगर और अन्य कॉलोनियां के लिए इसी मार्ग से निकलना होता है।
संजना पार्क, चमेली विला, शालीमार फॉर्म, एसएस रिजेंसी, मिलन हाइट्स, एवर शाइन कॉलोनी, सार्थक स्ट्रीट, श्रीराम एनक्लेव, नींव रिजेंसी, आरव टॉवर, दुर्गा नगर, श्री अग्रवाल नगर और अन्य कॉलोनियां के लिए इसी मार्ग से निकलना होता है।
कमर दर्द की वजह बन गई सडक़
संजना पार्क रहवासी संघ के पूर्व कोषाध्यक्ष रनछोड़दास चांडक ने कहा कि यह सडक़ रहवासियों के लिए अभिशाप बन गई है। बारिश में यहां से गुजरना खतरे से खाली नहीं है। इससे बुजुर्गों को कमर दर्द होने लगा है। सडक़ दर्द देने वाली बन गई है। हमने इसे ठीक कराने के लिए नगर निगम और आईडीए के जिम्मेदारों से बात की, पार्षद को शिकायत की, लेकिन कोई सुनने को तैयार नहीं है।
संजना पार्क रहवासी संघ के पूर्व कोषाध्यक्ष रनछोड़दास चांडक ने कहा कि यह सडक़ रहवासियों के लिए अभिशाप बन गई है। बारिश में यहां से गुजरना खतरे से खाली नहीं है। इससे बुजुर्गों को कमर दर्द होने लगा है। सडक़ दर्द देने वाली बन गई है। हमने इसे ठीक कराने के लिए नगर निगम और आईडीए के जिम्मेदारों से बात की, पार्षद को शिकायत की, लेकिन कोई सुनने को तैयार नहीं है।
बारिश में निकलना मुश्किल
एवर शाइन कॉलोनी की रहवासी रमा फरेला कहती हैं कि बारिश के दिनों में कॉलोनी से महिलाओं का निकलना दुष्कर हो जाता है। सडक़ कब बनेगी इसका इंतजार है। हमारी कॉलोनी समेत 10-12 कॉलोनियों के लोगों का इसी सडक़ से आवागमन होता है।
एवर शाइन कॉलोनी की रहवासी रमा फरेला कहती हैं कि बारिश के दिनों में कॉलोनी से महिलाओं का निकलना दुष्कर हो जाता है। सडक़ कब बनेगी इसका इंतजार है। हमारी कॉलोनी समेत 10-12 कॉलोनियों के लोगों का इसी सडक़ से आवागमन होता है।
हमने कोशिशें की हैं…
महापौर प्रतिनिधि ठाकुरसिंह आंवलिया ने कहा कि हमने सडक़ निर्माण की कोशिशें की हैं। निगम से भी चर्चा हुई है। चूंकि यह मुख्य मार्ग है, इसलिए इसका निर्माण बेहद जरूरी है। इसके बनने से 14-15 कॉलोनियों के लोगों को राहत मिलेगी।
महापौर प्रतिनिधि ठाकुरसिंह आंवलिया ने कहा कि हमने सडक़ निर्माण की कोशिशें की हैं। निगम से भी चर्चा हुई है। चूंकि यह मुख्य मार्ग है, इसलिए इसका निर्माण बेहद जरूरी है। इसके बनने से 14-15 कॉलोनियों के लोगों को राहत मिलेगी।