क्राइम ब्रांच एएसपी अमरेंद्र सिंह ने बताया, मुखबिर की सूचना पर उनकी टीम, खाद्य सुरक्षा विभाग और तेजाजी नगर पुलिस के साथ बुधवार को ग्राम मिर्जापुर में जय गुरुदेव आश्रम के सामने पहुंची। यहां टीम ने आरोपी विजय वाधवानी के मिलावटी कारखाने में छापामार कार्रवाई की। कारखाने के अंदर केमिकल पदार्थ गेम्बियर, टेनिन, स्टार्च, व परफ्यूम से मिलावटी कत्था बनाया जा रहा था। वहीं सड़ी सुपारी, पेराफीन वेक्स, परफ्यूम फ्लेवर तथा सेकरीन से मीठी स्वादिष्ट सुपारी बनाने का काम जारी था। अधिकारियों ने कारखाने में कर्मचारियों को सुंदर चमकीली पैकिंग करते रंगे हाथ पकड़ा। मौके से खाद्य सुरक्षा अधिकारी ने सैंपल लेकर पंचनामा तैयार किया। वहीं फैक्ट्री से तैयार माल को विधिवत जब्त कर कारखाने को सील किया गया। जब्त सैंपल शासकीय लैब भेजा है।
कार्रवाई के दौरान टीम ने मौके से विजय (५८) पिता मोहनदास वाधवानी निवासी त्रिवेणी नगर, उसका बेटा करण वाधवानी (२६), बिज्जु जोसेफ (४७) पिता तुम्मि जोसेफ निवासी श्रीयंत्र नगर, गिरिश पिता प्रभाकर पाठक निवासी अनूप टॉकीज और जुबान पिता बुडसिंह अजनारे निवासी खरगोन को गिरफ्तार किया है। आरोपियों द्वारा बाजार में चमकीली पाउच में असली व हाई क्वालिटी कत्थे व सुपारी के नाम पर घटिया, नकली तथा मिलावटी सामाग्री उपभोक्ताओं व आमजन तक पहुंचा कर धोखाधड़ी की गई। सभी के खिलाफ तेजाजी नगर थाने में धारा ४२०,२७२,२७३,१२० बी एवं ५२,५३,५९ खाद्य सुरक्षा और मानक अधिनियम के तहत गिरफ्तार किया है।
टीम ने इसी तरह भंवरकुआं थाना क्षेत्र स्थित पालदा औद्योगिक क्षेत्र में आरोपी विशम्भर वाधवानी का सतगुरु प्रोडक्टस नाम से नकली कत्था बनाने का कारखाना है। टीम ने यहां दबिश दी तो कारखाने में अस्वच्छ परिस्थितियों व स्वास्थ्य के लिए हानिकारक खाद्य पदार्थ कत्था व सुपारी कच्चे केमिकल पदार्थों गेम्बियर, टेनिन, स्टार्च तथा परफ्यूम से सड़ी सुपारी, पेराफीन वेक्स, परफ्यूम फ्लेवर तथा सेकरीन से बना रहे थे। उक्त माल को सुंदर चमकीली प्लास्टिक पाउच में पैकिंग कर बाजार में भेजने की तैयारी थी। यहां भी घटिया, नकली व मिलावटी सामाग्री उपभोक्ता तक पहुंचाई जा रही थी। भंवरकुआं थाने में आरोपी विशम्बर पिता मोहनदास वाधवानी निवासी औरेंज काउन्टी त्रिवेणी नगर और उसके बेटे सतीश वाधवानी के खिलाफ धारा ४२०, २७२, २७३, १२० बी एवं ५२, ५३, ५९ खाद्य सुरक्षा और मानक अधिनियम का केस दर्ज किया है। मामले में विशम्भर फरार है। उसकी तलाश में टीम जुटी है।
कत्थे की फैक्ट्री में नहीं मिली खैर की लकड़ी एएसपी ने बताया, दोनों ही फैक्ट्रियां विजय और विशम्भर की हैं। दोनों सगे भाई होकर सियागंज स्थित अपनी दुकानों में ट्रेडिंग करते हैं। ये इंदौर व आसपास के जिलों में फैक्ट्री में बने माल को सप्लाई करते। जांच में पता चला है कि असली कत्था खैर की लकड़ी के टुकड़े को पानी में उबालकर तैयार किया जाता है। लेकिन दोनों आरोपी की फैक्ट्री में खैर की लकड़ी तक नहीं मिली।