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सोयाबीन की कीमतों में तेजी के आसार, पाम तीन साल की ऊंचाई के करीब

locationइंदौरPublished: Dec 10, 2019 05:39:13 pm

देश की मंडियों में सोयाबीन की आवक कमजोर

इंदौर. देश की मंडियों में सोयाबीन की 5.70 लाख बोरी आवक हुई। प्रदेश में 2.50 लाख बोरी सोयाबीन आई। सोयाबीन ऊपर में 4100 रुपए क्विंटल बिका। सोयाबीन के उत्पादक राज्यों में बेमौसम बारिश और बाढ़ से सोयाबीन की फसल को नुकसान हुआ है जिससे चालू फसल सीजन में आयात बढ़कर तीन लाख टन होने का अनुमान है जबकि पिछले फसल सीजन में 1.80 लाख टन का आयात हुआ था। सोयाबीन प्रोसेसर्स एसोसिएशन आफ इंडिया (सोपा) के अनुसार चालू फसल सीजन 2019.20 में सोयाबीन का उत्पादन घटकर 89.84 लाख टन ही होने का अनुमान है जबकि पिछले साल 109.33 लाख टन का उत्पादन हुआ था। नई फसल की आवक के समय उत्पादक राज्यों में 1.70 लाख टन सोयाबीन का बकाया स्टॉक बचा हुआ थाए अतरू चालू सीजन में कुल उपलब्धता 91.54 लाख टन की बैठेगी। सोपा का कहना है कि बेनिन से सोयाबीन के आयात पड़ते लग रहे हैं। वही चालू सीजन में सोयाबीन की कुल उपलब्धता कम हैए जिस कारण आयात पिछले साल से ज्यादा ही होगा। मध्य प्रदेश और महाराष्ट्र की मंडियों में सोयाबीन के भाव 4000 से 4100 रुपये और प्लांट डिलीवरी भाव 4150 से 4200 रुपए प्रति क्विंटल चल रहे हैं।
डीओसी के निर्यात में भारी कमी
सोपा के अनुसार अक्टूबर-नवंबर में उत्पादक मंडियों में 30.50 लाख टन सोयाबीन की आवक हुई है जबकि पिछले साल इस दौरान 41 लाख टन की आवक हुई थी। सोया डीओसी का उत्पादक अक्टूबर-नवंबर में 11.74 लाख टन का हुआ है, जबकि इस दौरान निर्यात केवल 1.13 लाख टन का ही हुआ है। पिछले साल अक्टूबर.नवंबर में 4.57 लाख टन सोया डीओसी का निर्यात हुआ था। कृषि मंत्रालय के पहले आरंभिक अनुमान के अनुसार चालू फसल सीजन 2019.20 में सोयाबीन का 135.05 लाख टन होने का है, जबकि पिछले साल 137.86 लाख टन का उत्पादन हुआ था।
पाम तीन साल की ऊंचाई के करीब
आपूर्ति में तेज गिरावट की आशंकाओं के बीच मलेशियाई पाम तेल वायदा सोमवार को पांचवें सीधे सत्र के लिए बढ़ा और 3 साल के उच्च स्तर पर पहुंच गया। बरसा मलेशिया डेरिवेटिव एक्सचेंज में बेंचमार्क पाम ऑयल का अनुबंध 1.6 प्रतिशत बढ़कर 2904 रिंगिट ( 696.40) पर रहा, जो फरवरी 16 2017 के बाद से उच्चतम मूल्य है। राउटर पोल के सर्वेक्षण में मलेशियाई पाम तेल उत्पादन में नवंबर में 10 प्रतिशत की मासिक गिरावट दर्ज की जाएगी, लेकिन व्यापारियों ने कहा कि अब उन्हें उम्मीद है कि यह 13 प्रतिशत तक गिर जाएगा, जिससे कीमतें और बढ़ेगी। उद्योग विश्लेषक जेम्स फ्राई ने कहा कि शुष्क मौसम और कम उर्वरक का उपयोग (लागत को बचाने के लिए कुछ उत्पादकों द्वारा अपनाया गया कदम) इस साल शीर्ष उत्पादकों इंडोनेशिया और मलेशिया में उत्पादन को प्रभावित कर रहा हैए और आने वाले वर्षों में एक बड़ा कारक बना रहेगा। मलेशियाई पाम ऑयल बोर्ड 10 दिसंबर को आधिकारिक डेटा जारी करेगा। पाम ऑयल ने दूसरे सीधे सत्र के लिए शिकागो बोर्ड ऑफ ट्रेड पर सोया तेल की कीमतों को पछाडऩा जारी रखा। पिछली बार पाम तेल फरवरी 2011 में सोया तेल की तुलना में अधिक महंगा था। डालियान कमोडिटी एक्सचेंज के प्रतिद्वंद्वी तेलों में लाभ ने पाम तेल की कीमतों में तेजी लाने में भी मदद की। डालियान का जनवरी का सोया कॉन्ट्रैक्ट अंतिम बार 1.4 प्रतिशत अधिक रहा, जबकि पाम ऑयल का अनुबंध 3.1 प्रतिशत बढ़ा। अर्जेंटीना में सोआ ऑइल के साथ डालियान एक्सचेंज पर प्रतिद्वंद्वी तेल मलेशिया और इंडोनेशिया में पाम तेल की आपूर्ति की चिंताओं पर तेज़ हो गएए मुंबई के वनस्पति तेल दलाल सुनीविन ग्रुप के अनुसंधान प्रमुख अनिलकुमार बागानी ने कहा। पाम तेल संबंधित तेलों में मूल्य परिवर्तन से प्रभावित होता है।
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