नोडल अधिकारी एडिशनल डीसीपी प्रशांत चौबे के मुताबिक, सुदामानगर सेक्टर ई में रहने वाले बुजुर्ग दंपती बीमार हुए तो मदद की गुहार लगाई। सत्यकॉम वालेंटियर आशीष शर्मा व साथी पहुंचे तो पता चला कि बुजुर्ग दंपती के बच्चे बाहर रहते हैं। वे अकेले हैं और बीमार हैं। वालेंटियर ने टेस्ट कराया तो वे कोरोना संक्रमित निकले। इसके बावजूद वालेंटियर पीछे नहंीं हटे और घर में आइसोलेट कर दंपती का ध्यान रखा। जरूरी दवाइयों के साथ ही भोजन एवं देखभाल की व्यवस्था भी करवाई गई। वर्तमान में वे स्वस्थ हो गए हैं और वालेंटियर का आभार माना।
पैर में फ्रेक्चर होने पर वालेंटियर को किया याद
वैशालीनगर में अकेले रहने वाले बुजुर्ग दुर्घटना का शिकार हुए। पैर में फ्रेक्चर होने से लाचार हुए तो वालेंटियर से संपर्क किया। वालेंटियर हरभजन सिंह खुराना उनके पास पहुंचे। प्रधानमंत्री जन औषधि भंडार से दवाइयां दिलवाई और भोजन आदि सुविधाओं का भी ध्यान रखा। सुदामानगर के एक अन्य बुजुर्ग बीमार हुए तो टीम ने दवा उपलब्ध नहीं होने पर उन्हें दवाइयां मेडिकल स्टोर से उपलब्ध कराई और पूरा ध्यान रखा।
वैशालीनगर में अकेले रहने वाले बुजुर्ग दुर्घटना का शिकार हुए। पैर में फ्रेक्चर होने से लाचार हुए तो वालेंटियर से संपर्क किया। वालेंटियर हरभजन सिंह खुराना उनके पास पहुंचे। प्रधानमंत्री जन औषधि भंडार से दवाइयां दिलवाई और भोजन आदि सुविधाओं का भी ध्यान रखा। सुदामानगर के एक अन्य बुजुर्ग बीमार हुए तो टीम ने दवा उपलब्ध नहीं होने पर उन्हें दवाइयां मेडिकल स्टोर से उपलब्ध कराई और पूरा ध्यान रखा।
खाद्य सामग्री भी पहुंचा रहे वालेंटियर
सत्यकॉम वालेंटियर के पास कुछ इलाके के बुजुर्गों के पास राशन नहीं होने की भी समस्या आई। वालेंटियर उत्तर्ष चौधरी ने ऐसी ही समस्या पर बुजुर्ग के घर तक खाद्य सामग्री लेकर सहायता की। अन्य करीब 100 वालेंटियर भी आपात स्थिति में दवाइयों, चिकित्सा सेवा एवं राशन सामग्री की सहज उपलब्धता के लिए लगातार काम कर रहे हैं।
सत्यकॉम वालेंटियर के पास कुछ इलाके के बुजुर्गों के पास राशन नहीं होने की भी समस्या आई। वालेंटियर उत्तर्ष चौधरी ने ऐसी ही समस्या पर बुजुर्ग के घर तक खाद्य सामग्री लेकर सहायता की। अन्य करीब 100 वालेंटियर भी आपात स्थिति में दवाइयों, चिकित्सा सेवा एवं राशन सामग्री की सहज उपलब्धता के लिए लगातार काम कर रहे हैं।