script1 अप्रैल से आबकारी विभाग संभालेगा शराब की दुकानें | Excise department will handle liquor shops from April 1 | Patrika News

1 अप्रैल से आबकारी विभाग संभालेगा शराब की दुकानें

locationइंदौरPublished: Mar 21, 2022 04:39:57 pm

Submitted by:

Subodh Tripathi

पांच प्रयासों के बाद भी जिले की आधी शराब दुकानें नीलाम नहीं हो पाई हैं। नई आबकारी नीति में छोटे ग्रुपों में दुकानें नीलाम करना है और इस कारण बड़े ठेकेदार इसमें रुचि नहीं दिखा रहे हैं.

1 अप्रैल से आबकारी विभाग संभालेगा शराब की दुकानें

1 अप्रैल से आबकारी विभाग संभालेगा शराब की दुकानें

इंदौर. शराब दुकानों की लगातार नीलामी के कई प्रयासों के बावजूद भी पूरी दुकानें नीलाम नहीं हो पा रही है, जिसका मुख्य कारण ठेकेदारों की रूचि नहीं होना है, अगर ऐसा ही रहा तो 1 अप्रैल से आबकारी विभाग खुद शराब की दुकानें संभालेगा।


पांच प्रयासों के बाद भी जिले की आधी शराब दुकानें नीलाम नहीं हो पाई हैं। नई आबकारी नीति में छोटे ग्रुपों में दुकानें नीलाम करना है और इस कारण बड़े ठेकेदार इसमें रुचि नहीं दिखा रहे हैं, जो टेंडर भर रहे हैं वह भी बैस प्राइज से कम। एक तरह से सरकार पर रेट कम करने का दबाव है।

शनिवार को फिर शराब दुकानों की नीलामी का प्रयास था, लेकिन इस बार भी बड़े ठेकेदारों ने इससे दूरी बनाए रखी। सिर्फ एक ग्रुप के लिए टेंडर जमा हुआ, वह भी बैस प्राइज से कम ।

सहायक आयुक्त राजनारायण सोनी के मुताबिक, कम राशि का टेंडर होने से इसे स्वीकार नहीं किया है। अब 22 मार्च को फिर टेंडर खोले जाएंगे। अधिकारी ठेकेदारों से संपर्क कर दुकानें लेने के लिए तैयार करने की कोशिश कर रहे हैं, लेकिन सफलता नहीं मिल रही। इसके पहले के भी दो प्रयास में दुकानों के टेंडर आए, लेकिन बैस प्राइज से कम थे, इसलिए स्वीकार नहीं हुए।

इंदौर में पिछले साल सिंडीकेट ने ठेके लिए थे, लेकिन इस बार अधिकतम 3 ग्रुप एक ठेकेदार को दिए जा रहे हैं। चूंकि देशी शराब दुकान पर विदेशी शराब बेचने की भी अनुमति है, इसलिए पिछले साल की तुलना में इस साल रेट 20 प्रतिशत बढ़ाए गए हैं। विदेशी शराब दुकान की कीमत में 15 प्रतिशत वृद्धि हुई हैं। देशी को लेने में तो फिर भी ठेकेदारों की रुचि है, लेकिन विदेशी लेने से वह दूरी बना रहे हैं।

यह भी पढ़ें : बगैर ब्याज के सरकार दे रही लोन, गरीबों के लिए फायदेमंद स्कीम

दूसरे शहरों के भी वही हाल

इंदौर की तरह ही भोपाल, ग्वालियर, उज्जैन आदि बड़े शहरों में भी दुकानें नीलाम नहीं हो रही हैं। अधिकारी भी शासन को रेट कम करने के लिए कह रहे हैं, लेकिन अभी तक कोई सुधार नहीं हुआ है। अगर दुकानें नीलाम नहीं हुई तो 1 अप्रैल से आबकारी विभाग को अपनी टीमें बैठाकर बिक्री करना पड़ेगी। हालांकि उम्मीद है कि सरकार नीति में कुछ फेरबदल कर सकता है।

loksabha entry point

ट्रेंडिंग वीडियो