मोनिका बेहोश हुई तो नोटंकी कर खुद भी पहुंच गई एमवाय अस्पताल
एमवाय अधीक्षक पहुंचे अस्पताल, सीनियर डॉक्टर को बुला करवाई सभी जांच
आरती बोली- मैं गर्भवती हूं, सोनोग्राफी में कुछ नहीं निकला, पुलिस धक्के मारकर ले गई थाने
लखन शर्मा, इंदौर। हनी ट्रेप मामले में निगम इंजीनियर को ब्लेकमेल कर गिरफ्तार होकर पुलिस रिमांड पर होने के बावजूद आरोपित महिलाएं पुलिस को गुमराह कर रही है। कल भी दोनों महिलाओं ने पुलिस रिमांड २७ सितंबर तक बढ़ जाने की सूचना मिलते ही नाटक शुरू कर दिए। आरती ने खुद को दो माह का गर्भ बताया और बेहोश हो गई। डॉक्टरों ने जांच की तो कुछ नहीं निकला। पुलिस इन्हें गोदी में उठाकर एमवाय लाई थी लेकिन जब पता चला नाटक कर रही है तो दोनों को धक्के मारकर अस्पताल से ले गई।
दरअसल आरोपित आरती दयाल ने पुलिस को गुमराह करने के लिए नया हथकंडा अपनाया और खुद को दो माह का गर्भ होना बताया। इसी वजह से बेहोश् हो गई और फिर एमवाय अस्पताल में भर्ती होने के लिए पुलिस पर दबाव बनाने लगी। इसके बाद एमवाय अधीक्षक डॉ. पीएस ठाकुर पहुंचे और उन्होंने सीनियर स्त्री रोग विशेषज्ञ को बुलाकर पुरी जांच कराई। जांच में पहले आरती की सोनोग्राफी कराई, उसमें कुछ नहीं निकला। वह फिर गर्भवती होने का नाटक करने लगी। डॉक्टरों से बोली मुझे दो माह का गर्भ है। इसके बाद डॉक्टरों ने उसकी यूरिन जांच करवाई वह भी नेगेटिव आई। इसी के बाद पुलिस के अधिकारियों को बताया की दोनों नाटक कर रही हैं, सभी जांचे नार्मल आई है। इसके बाद डॉक्टरों ने डिस्चार्ज कर दिया तो भी अस्पताल से जाने में नाटक करने लगी। इसके बाद मौजुद पुलिसकर्मियों को गुस्सा आया तो जो आते समय आरती और मोनिका को गोद में उठाकर लाए थे वे ले जाते समय धक्के मारकर ले गए।
पुलिस के साथ डॉक्टरों को भी करती रही गुमराह हनी ट्रेप मामले में कल कोर्ट ने आरोपित आरती दयाल और मोनिका उर्फ सीमा यादव की पुलिस रिमांड अवधि २७ सितंबर तक बढ़ा दी। पुलिस जब इन दोनों को कोर्ट से महिला थाने लेकर पहुंची तो पहले मोनिका बदहवास होकर गिर पड़ी। इस दौरान आरती ने मोनिका को संभाला लेकिन वह बेहोशी का नाटक कर पड़ी रही। आनन फानन में पुलिस उसे लेकर एमवाय अस्पताल पहुंची और इलाज शुरू करवाया। इसके कुछ ही देर बाद आरती दयाल भी थाने में बेहोशी का नाटक कर गिर पड़ी। उसे भी पुलिस एमवाय अस्पताल लेकर पहुंची। यहां जब डॉक्टरों ने दोनों का बीपी, पल्स रेट चेक किया तो नार्मल आया, लेकिन दोनों बेहोशी का नाटक कर रही थी। आरती को जब मोनिका ने देखा तो वह स्ट्रेचर पर बैठ गई। वहीं आरती नाटक करती रही। दोनों की अस्पताल से नार्मल रिपोर्ट आने, कोई बीमारी नहीं निकलने की बात डॉक्टरों ने कह दी तो भी दोनों अस्पताल से आने को तैयार नहीं थी। पुलिस ने इसके बाद सख्ती की और महिला पुलिस दोनों को केजुअल्टी से एमवाय चौकी तक धक्के मारकर लाई। अस्पताल अधीक्षक और फारेंसिक एक्सपर्ट डॉ. पीएस ठाकुर ने खुद बैठकर तकनीकि रिपोर्ट बनवाई ताकि महिलाएं कोर्ट में भी गुमराह न कर सकें।
– सीएसपी पहले ही पहुंच गई कोर्ट इधर मामले में रिमांड पर चल रहे आरती दयाल, मोनिका यादव और ड्रायवर ओमप्रकाश को कल पुलिस कोर्ट लेकर पहुंची। आरोपित कोर्ट पहुंचे इसके पूर्व ही सीएसपी ज्योति उमठ कोर्ट पहुंचकर कोर्ट के सामने पुलिस का पक्ष रख चुकी थी। इसके बाद आरोपितों को लाए तब थाना प्रभारी शशिकांत चौरसिया भी कोर्ट पहुंचे और जज को विवेचक बता रिमांड अवधि ७ दिन बढ़ाने की बात कही। इस दौरान आरोपित महिलाओं के वकीलों ने आपत्ति भी ली। लेकिन कोर्ट ने ५ दिन के आरती और मोनिका के रिमांड आर्डर कर दिए। वहीं ड्रायवर ओमप्रकाश को न्यायिक हिरासत में जेल भेज दिया।
राजगढ़ और छतरपुर ले जाने की तैयारी इधर पुलिस अब आरोपित आरती और मोनिका को राजगढ़, छतरपुर और भोपाल ले जाने की तैयारी में लगी है। आज पुलिस अधिकारी इस पर निर्णय लेंगे की इन्हें पहले कहां ले जाया जाए। कारण है की आरती और मोनिका ने खुद को हरभजन सिंह से भोपाल में भी मिलना बताया है। एसे में पुलिस उन स्थानों पर भी जाएगी और जांच करेगी। पुलिस उन ठिकानों पर भी जाएगी जहां से इन्होंने फर्जी आधार कार्ड बनवाए हैं, वहीं इनके घर जाकर भी संबंधित केस से जुड़ा सामान जब्त किया जाएगा।