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भाजपा के नए अध्यक्ष बोले- हार-फूल, टेबल-कुर्सी की जरूरत नहीं, बस एक माइक लगा देना

locationइंदौरPublished: Aug 10, 2018 11:22:26 am

Submitted by:

Mohit Panchal

मंडल अध्यक्षों को नेमा ने दी राहत, बोले मैं तो दरी पर भी बैठक कर लूंगा

gopi neema

हार-फूल की जरूरत नहीं, चाय पिलाना हो तो पिलाओ

इंदौर. नवनियुक्त नगर अध्यक्ष गोपीकृष्ण नेमा और उनकी टीम ने नौ घंटे मैराथन बैठक कर नया रिकॉर्ड बना दिया। ये सिलसिला आज भी जारी रहेगा। अब जल्द ही नेमा मंडलों में जाने वाले हैं। कुछ अध्यक्षों के माथे पर बल आ गया था, लेकिन नेमा ने साफ कर दिया कि कोई आडंबर की जरूरत नहीं है। हार-फूल मत पहनाओ, टेबल-कुर्सी की भी व्यवस्था मत करना। बस दरी बिछाकर एक माइक व स्पीकर लगा देना, काम हो जाएगा।
इंदौर में भाजपा एक बार फिर अपने कलेवर में आती नजर आ रही है। नेमा ने अध्यक्ष बनते ही वहां फॉर्मूला लगाना शुरू कर दिया, जो संघर्ष काल में होता था। कल दीनदयाल भवन में सुबह 10 बजे से जो बैठक का सिलसिला शुरू हुआ तो रात 10 बजे तक चला। 9 मंडलों की बैठक के बाद कोर कमेटी की परिचय बैठक भी हुई। आखिरी में विधायक व प्रमुख नेताओं के साथ बंद कमरे में चर्चा की।
नेमा ने मंडल अध्यक्षों से जब कहा कि अभी तो आप आए हो, लेकिन आने वाले दिनों में मैं व टीम आपके पास मंडल में आएंगी। बूथ स्तर के कार्यकर्ताओं के साथ बैठक कर बात करेंगे। ये सुनते ही अध्यक्षों के माथे पर चिंता की लकीर खींच गई थीं, क्योंकि उन्हें बैठक के लिए व्यवस्थाएं जुटानी पड़ती।
इस पर नेमा ने साफ कर दिया कि ज्यादा उठापटक व व्यवस्था जुटाने की जरूरत नहीं है। उन्होंने स्वागत में हार-फूल पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा दिया। उन्होंने कहा मैं भी आपकी तरह ही एक कार्यकर्ता हूं, बस सबकी जिम्मेदारी अलग-अलग है। बैठक में कुर्सी-टेबल की व्यवस्था ना भी करो तो कई दिक्कत नहीं है।
दरी पर बैठक करने का पुराना अनुभव है, उस पर ही आनंद आता है। बस ये रहे कि एक माइक व स्पीकर लग जाए ताकि अपनी बात सब तक पहुंच जाए। चाय भी नहीं पिलाओगे तो चलेगा। बस कार्यकर्ता की संख्या से कोई समझौता नहीं होगा। ज्यादा से ज्यादा टीम इकट्ठा होनी चाहिए, क्योंकि सामने चुनाव है और कार्यकर्ताओं में जोश होना चाहिए। ये सुनते ही तालियां बजीं। यहां तक कहा कि हम रोज शाम को कार्यालय पर बैठेंगे। आप हमें अपने सुख-दु:ख बता सकते हैं, हमसे जितना बन पड़ेगा, उतनी समस्या दूर करने का प्रयास करेंगे।
चाय पर से हटा प्रतिबंध, नाश्ता भी विचाराधीन

तीन साल पहले दीनदयाल भवन में आने वाले कार्यकर्ता के सम्मान में पिलाई जाने वाली चाय पर प्रतिबंध लगा दिया गया था, यहां तक कि उनसे सीधे मुंह बात भी नहीं की जाती थी, लेकिन अब माहौल बदल गया। नेमा तो ठीक उनकी टीम भी पूरे समय मौजूद रहती है। हर आने वाले कार्यकर्ताओं के लिए चाय की व्यवस्था की गई है। जल्द ही नाश्ते की व्यवस्था करने का भी विचार किया जा रहा है।

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