टीआई एमजी रोड राजेंद्र चतुर्वेदी ने बताया कि कोरबा छत्तीसगढ़ से प्रेम कुमार राठौर (36) अपनी पत्नी के साथ इंदौर आए थे। वे टेस्ट ट्यूब बेबी का इलाज करवा रहे है। बुधवार शाम किशनपुरा छत्री के पास से वे एक ऑटो रिक्शा में बैठे। उनके पास तीन बैग थे। रुपए का बैग उन्होंने सीट के पास दबाकर रख दिया। एमआईजी इलाके में डॉ. शैफाली ओझा के क्लीनिक पर उतरते समय वह पैसे का बैग रिक्शा में ही भूल गए। बैग में 68 हजार रुपए थे। कुछ देर बाद जब उन्हें याद आया तो दोनो परेशान हो गए। डॉक्टर से मिलने के बाद दोनो किशनपुरा छत्री पर पहुंचे। रिक्शा नहीं मिला तो पुलिस को शिकायत की।
रिक्शा की तलाश के लिए एक टीम बनाई गई। टीम ने पंद्रह जगह सीसीटीवी फुटेज देखे। इसमें रिक्शा तो मिल गया लेकिन उसका नंबर नहीं पता चला। करीब चार सौ ऑटो रिक्शा की जांच पुलिस ने की। रिक्शा पर लगे एक स्टीकर से गुरूवार शाम राजवाड़ा चौक पर रिक्शा मिल गया। ड्राइवर केशव ने बताया कि सवारी अपना बैग भूल गई थी। वह भी उनकी तलाश कर रहा था। रिक्शा में ही उसने बैग रखा था। रुपए का बैग वापस पाकर दंपत्ति काफी खुश हुए।