दरअसल, प्रदेश की आर्थिक राजधानी इंदौर को लेकर दो से तीन दशकों में कई प्लान बने। इसमें से कुछ कागजों पर आकार लेने के साथ ही विवादों के घेरे में आ गए तो कुछ मूर्तरूप लेने के बाद। कई प्रोजक्ट ऐसे भी थे अगर वह धरातल पर उतरते तो निश्चित रूप से शहर की कई समस्याओं का समधाना हो जाता।
सियासी लड़ाई में उलझे ये प्रोजक्ट