कल अलसुबह इन लोगों को निजी बसों से सूरत के लिए रवाना किया गया था। दोपहर बाद विदेश मंत्रालय ने इन विदेशियों को इंदौर आने की अनुमति दी। हालांकि तब तक १४०० से अधिक विदेशी समाजजन प्रदेश की सीमा से बाहर हो चुके थे।
चार दिनों से आने लगे थे धर्मगुरु सैयदना की वाअज आज से २० सितंबर तक चलेगी। चार दिनों से विदेशों से समाजजनों का आना शुरू हो गया था। सभी को अलग-अलग जगह रुकवाया। प्रधानमंत्री का कार्यक्रम 14 सितंबर को तय होने के बाद उन्हीं विदेशी महमानों को रुकने की अनुमति दी, जिनके पास इंदौर का वीजा था।
टूरिस्ट वीजा लेकर आए अधिकांश पाकिस्तानी समाजजन सैयदना की वाअज के लिए टूरिस्ट वीजा लेकर आए थे। इसमें दरगाह का जिक्र किया जाता है। इंदौर में कोई दरगाह नहीं है, इसलिए सभी को अन्य शहरों का वीजा दिया गया, जिसमें अधिकांश ने सूरत का वीजा लिया था।
सुबह से शुरू हुआ वापस भेजने का सिलसिला मंगलवार अलसुबह से पाकिस्तानी व अन्य अरब देशों के समाजजनों को बसों से सूरत भेजने का सिलसिला शुरू कर दिया गया था, जो दोपहर २ बजे तक चलता रहा। चोइथराम अस्पताल के सामने लिस्ट के अनुसार समाजजनों को बस में बैठाया जाने लगा। दोपहर में हंस ट्रेवल्स की पांच बसों को भरकर भेजा गया।
शाम को वापस बुलाया बोहरा समाज के अली अजगर भोपालवाला ने बताया कि वीजा की दिक्कत के चलते लोगों को भेजा गया था, लेकिन दोपहर बाद विदेश मंत्रालय से स्वीकृति मिलने के बाद सभी को वापस बुला लिया है।
हां, हमने करीब १५ बसों से विदेश से समाजजनों को सूरत रवाना किया था, लेकिन जानकारी मिलने के बाद आधे रास्ते से बसों को लौटा लिया।
हकीमुद्दीन हसन, हकीम ट्रेवल्स के संचालक