सभी दोस्त अपने किसी मित्र की जन्मदिन पार्टी मनाने के लिए घर से निकले थे। रात 11 बजे वे गए थे और दो बजे के करीब घर पर इनके कार एक्सीडेंट होने की खबर आ गई। अभी यह पता नहीं चल पाया है कि किस दोस्त की पार्टी में गए थे। पार्टी से लौटते हुए उनकी कार बेकाबू हो गई और टैंकर से टकरा गई। टक्कर इतनी भीषण थी कि कार बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गई। सभी के शरीर भी कार से बाहर लटक गए थे। टैंकर का पहिया निकल कर बाहर आ गया था।
घटनास्थल के पास में पेट्रोल पंप के कर्मचारी राजकुमार ने बताया कि वह ऑफिस में बैठकर अपना काम कर रहे थे। इसी दौरान बाहर से तेज आवाज आई। पहले तो कुछ समझ नहीं आया, लेकिन जब बाहर निकल कर देखा तो वहां पर काफी धूल और धुआं उठ रहा था। कार की स्पीड काफी तेज थी, इसी कारण चार युवकों की तो मौके पर ही मौत हो गई थी। अंदर से दो घायलों के कराहने की आवाजें आ रही थीं। इस पर पुलिस को सूचना दी। मौके पर पहुंची पुलिस ने घायलों को निकाल कर अस्पताल भेजा।
इस हादसे में भाइयों की भी मौत हो गई है। सूरज और देव दोनों ही चचेरे भाई है। उनके परिवार के मुताबिक सूरज एक निजी कंपनी में काम करता था। परिवार में उसकी एक बड़ी बहन है, जबकि देव उसके चाचा का लड़का है। उसके घर में एक छोटी बहन है। दोनों ही इकलौते लड़के थे। देव अभी बीबीए कर रहा है। कल रात को उनके एक्सीडेंट की खबर कॉलोनी में पहुंचे तो आसपास के लोगों ने परिजनों को जगाया और इस बारे में बताया। परिवार के मुताबिक सूरज रात 10 बजे के करीबन घर पर आ गया था। इसके बाद उसे दोस्तों का फोन आया और उन्होंने पार्टी में चलने का बोला इस पर सूरज और देव दोनों ही वहां से चले गए थे।
हादसे में अपनी जान गंवा चुका सोनू भी पढ़ाई कर रहा था। वह रूस में रहकर एमबीबीएस कर रहा है। लॉकडाउन के चलते वह अभी घर आया हुआ था। तभी से इंदौर में रह रहा था। वह भी परिवार में इकलौता बेटा बताया जा रहा है। उसके पिता खेती का काम करते हैं वह भी इकलौता बेटा है। घर पर में तीन बहनें और एक भाई है।
सुमित यादव के परिवार में गमी हो गई थी। इसी के चलते वह माता-पिता कानपुर गए हुए थे। घर में भाइयों के अलाला कोई नहीं थी। उन्हें रात में इसकी खबर कर दी गई थी। इस पर सुबह चार बजे के लगभग वहां से निकले है। दोपहर बाद वह घर पहुचेंगे। उसके पिता किराना दुकान चलाते है। वह भी अभी पढ़ाई कर रहा था। घर में दो भाई है। एक छोटा और एक बड़ा भाई है।
हादसे में जान गवा चुका ऋषि सबसे छोटा था। वह अभी 12वीं क्लास में पढ़ाई कर रहा था। यह भी इकलौता चिराग बताया जा रहा है। इस पिता टिफिन सेंटर चलाते हैं। कल रात को वह भी अपने दोस्त की पार्टी में जाने का कहकर निकला था। इसके बाद रात में उसकी मौत की खबर ही आई।
चंद्रभान बीबीए सेकंड इयर का छात्र का था। उसके पिता छोटा-मोटा काम करके घर का खर्च चलाते है। उसके दो भाई और है। कल रात को 11 बजे के करीबन उसने अपने परिवार को बताया कि वह सूरज और देव के साथ एक दोस्त के यहां पर जा रहा था। वहां से खाना खाकर घर पर लौट आएगा। परिवार के लोगों ने भी ज्यादा पूछताछ नहीं की। इसके बाद देर रात को खबर आई कि एक्सीडेंट हो गया है। इस पर अस्पताल पहुंचे तो यहां पर उसकी मौत की जानकारी मिली।