scriptसटोरिए बना रहे है उड़द में तेजी का माहौल | Speculators are creating a booming environment in Urad | Patrika News

सटोरिए बना रहे है उड़द में तेजी का माहौल

locationइंदौरPublished: Nov 16, 2019 08:48:40 pm

उपभोक्ता मामलात मंत्रालय दलहनों पर आयात कोटा हटाए जाने के पक्ष में

सटोरिए बना रहे है उड़द में तेजी का माहौल

सटोरिए बना रहे है उड़द में तेजी का माहौल

इंदौर. कमजोर ग्राहकी के बावजूद उड़द और मोगर में सटोरिए तेजी का माहौल बना रहे है। सूत्रों के मुताबिक मुंबई और चेन्नई में उड़द के नए कंटेनर लगाने वाले है ऐसे में जब तक तेजी का माहौल नहीं बनाएंगे माल बिकेगा नहीं। ये सबसे बड़े कमाल की बात है की हाजर में ग्राहकी नदारत है, लेकिन भाव बढाकर बोल रहे है। मंडी में उड़द 8000 से 8200 रुपए क्विंटल बिक रहा है। उड़द में शुद्ध रूप से सट्टेबाजी चल रही है। मंदी में तेजी का माहौल बनाने के लिए कई लोगो ने व्हाट्सप्प के रूपों को जरिया बना लिया है। म्यांमार में उड़द की बिजाई का समय है। सूत्रों के अनुसार अगर सरकार आयात खोलती है तो आनेवाले 04 महीनो में अकेला म्यांमार ही 5-7 लाख टन उड़द उपलब्ध करा सकता है।
उपभोक्ता मामलात मंत्रालय दलहनों पर आयात कोटा हटाए जाने के पक्ष में
कमजोर उत्पादन के कारण घरेलू बाजार में दाल.दलहन की कीमतों में आ रही तेजी को नियंत्रित करने तथा आपूर्ति एवं उपलब्धता बढ़ाने के लिए केन्द्रीय उपभोक्ता मामलात मंत्रालय विदेशों से दलहनों का आयात बढ़ाए जाने के पक्ष में है। चूंकि तुवर, उड़द, मूंग एवं मटर के आयात पर कोटा प्रणाली लागू है इसलिए उसने इस मात्रात्मक प्रतिबंध को हटाने की सिफारिश की है।
मंत्रालय के वरिष्ठ आधिकारिक सूत्रों के अनुसार चालू वित्त वर्ष के लिए 1.50-1.50 लाख टन उड़द, मूंग एवं मटर तथा 4.00 लाख टन तुवर के आयात का कोटा नियत हुआ था। तुवर को छोड़कर शेष दलहनों के आयात की समय सीमा 31 अक्टूबर को खत्म हुई थी जबकि तुवर आयात की अवधि 15 नवंबर तक बढ़ाई गई थी जो समाप्त हो गई। अब इन दलहनों का आयात बंद हो गया है जिससे इसके घरेलू बाजार मूल्य में तेजी आ रही है। इसके आयात में देर होने से बाजार और भी ऊपर उछल सकता है।
254 लाख टन दलहनों की मांग
चालू वर्ष के लिए दलहनों की कुल घरेलू मांग 254 लाख टन पर पहुंचने का अनुमान लगाया गया है, जबकि इसकी कुल उपलब्धता 256 लाख टन रहने की संभावना व्यक्त की जा रही है। इसमें नैफेड के पास उपलब्ध 8 लाख टन तुवर तथा 15 लाख टन चना के साथ अन्य दलहनों का सीमित स्टॉक भी शामिल है। अधिकारियों का कहना है कि बेमौसमी वर्षा से कर्नाटक एवं महाराष्ट्र में तुवर की फसल को नुकसान होने की खबर मिल रही है जबकि मध्य प्रदेश में पहले ही उड़द की लगभग 50 प्रतिशत फसल बर्बाद हो चुकी है। मूंग की फसल भी कहीं.कहीं क्षतिग्रस्त हुई है।
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