डीजल की कीमतें भी 100 रुपए लीटर के करीब होने से ट्रांसपोर्टेशन महंगा हुआ है। कुछ समय पहले मदुरई और शिवाकाशी में माचिस उत्पादकों की बैठक में कीमतें बढ़ाने पर सहमति बन गई थी। अब इंदौर सहित आसपास के शहरों में दो रुपए प्रति डिबिया की दर से माचिस बेची जाएगी।
माचिस की कीमत का सफर
-देश में 1950 से माचिस का निर्माण किया जा रहा है।
-पहली कीमत 5 पैसे प्रति डिबिया तय हुआ था।
-10 साल बाद 1960 में दोगुना बढ़ोतरी के साथ 10 पैसे भाव हुए।
-1970 में 15 पैसे, 1980 में 25 पैसे दाम थे। 1994 में माचिस 50 पैसे की गई।
-2007 में कीमत में बढ़ोतरी हुई और डिबिया की कीमत एक रुपए हुई।
-अब भाव में दोगुना इजाफा कर 2 रुपए प्रति डिबिया रेट किया है।
(डिस्ट्रिब्यूटर अंकित तुरखिया के मुताबिक)
100 किमी क्षेत्र में इंदौर से सप्लाय
माचिस डिस्ट्रिब्यूटर के मुताबिक, 17 जनवरी से इंदौर में नई दरें लागू हो गई हैं। आसपास के 100 किमी क्षेत्र में इंदौर सेमाल सप्लाय होता है, इसलिए उन सभी स्थानों पर भी नई कीमतें लागू हो गई हैं।
12 फीसदी जीएसटी का दायरा
इंदौर के सियागंज से माचिस का थोक कारोबार होता है। माचिस 12 फीसदी जीएसटी के दायरे में है। नए दाम तय होने से थोक में माचिस की कीमत 650 से 700 रुपए प्रति बॉक्स हो गई है। एक बॉक्स में 600 डिबिया होती है। व्यापारियों का कहना है कि अन्य जरूरी वस्तुओं की तरह माचिस को भी 5 फीसदी जीएसटी के दायरे में लिया जाना चाहिए।