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विधायक, नेता पुत्रों और उद्योगपतियों को भी नहीं मिल रहे वीआइपी नंबर

locationइंदौरPublished: Aug 20, 2022 01:30:53 am

Submitted by:

shatrughan gupta

वाहन पोर्टल पर 1 अगस्त से शुरू हुई थी जेडबी सीरिज, अब तक नहीं शुरू हुई निलामी।

विधायक, नेता पुत्रों और उद्योगपतियों को भी नहीं मिल रहे वीआइपी नंबर

विधायक, नेता पुत्रों और उद्योगपतियों को भी नहीं मिल रहे वीआइपी नंबर

इंदौर. वाहन पोर्टल पर नई सीरिज शुरू होने और पुरानी सीरिज के वीआइपी नंबर होने के बाद भी नंबरों की निलामी नहीं हो पा रही है। दोनों सीरिज के करीब 800 से ज्यादा वीआइपी नंबर तकनीकी फेर में उलझे हुए हैं। वीआइपी नंबरों के लिए लाखों रुपए तक देने वालों को केवल तारीख पर तारीख ही मिल रही है। इस फेहरिस्त में विधायक और नेता पुत्रों के अलावा उद्योगपति भी शामिल हैं।
वाहन पोर्टल पर 1 अगस्त से जेडबी सीरिज शुरू की गई थी, इसके वीआइपी नंबर की बिक्री नहीं हो सकी है। इसके पहले कार की नई सीरिज एमपी-09-डब्ल्यूएन 16 जुलाई को शुरू की गई थी। 1 अगस्त की निलामी में इन नंबरों को शामिल किया जाना था। इसकी तैयारी भी बड़ी संख्या में आवेदकों ने कर रखी थी। बताया जाता है कि वाहन पोर्टल शुरू होने की स्थिति में पुराने सिस्टम को बंद करने का तर्क अधिकारी दे रहे हैं, वहीं वाहन पर तकनीकी कारणों से निलामी नहीं हो पा रही है। वीआइपी नंबर की निलामी का काम करने वाले हर एजेंट के पास 5 से 10 फाइलें पड़ी हैं।डब्ल्यूएन सीरिज में लगेगा समय
एजेंटों के अनुसार विधायक संजय शुक्ला के पुत्र और भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय के पुत्र की कार के नंबर भी निलामी के चक्कर में अटके पड़े हैँ। इसके अलावा भाजपा-कांग्रेस के कई नेताओं के साथ उद्योगति भी नंबर लेने की कतार में हैं। तकनीकी दिक्कतों के आगे नेताओं के प्रभाव भी काम नहीं आ रहें। जेडबी सीरिज के लिए पहले 1 अगस्त उसके बाद 15 अगस्त तारीख दी गई, लेकिन निलामी शुरू नहीं हुई। अब 22 अगस्त नई तारीख दी गई है। वहीं डब्ल्यूएन सीरिज में अभी समय लगेगा।
अप्रेल में हुई थी निलामी

कई बार अफसरों की मनमानी के कारण वीआइपी नंबरों में गड़बड़ी होती है। जबकि, 0001 नंबर 13 लाख में भी बिक चुका है। ऐसे में अधिकारियों की उदासीनता के चलते विभाग को राजस्व का नुकसान हो रहा है। अप्रेल माह में आखिरी बार नई सीरिज के नंबरों की नीलामी हुई थी। डब्ल्यूएम सीरिज के 0001 नंबर के लिए कई दावेदार मैदान में थे, लेकिन रात 12 बजे के ठीक कुछ मिनट पहले वीआइपी नंबर वेबसाइट से हट गए थे। 0001 नंबर हरीश विजयवर्गीय को 3.66 लाख रुपए में दे दिया गया था। बताया जाता है कि वे भाजपा महासचिव कैलाश विजयवर्गीय के खास हैं। इस नंबर के लिए 7 दावेदार मैदान में थे, जो इससे भी ज्यादा पैसा देने को तैयार थे। पिछली बार नंबर लेने से वंचित हुए आवेदकों को इस बार भी निराश होना पड़ा।

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