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#TrafficProblem: हम ट्रैफिक से परेशान, पुलिस वसूली में मस्त, ई-चालान ऑनलाइन क्यों नहीं?

locationइंदौरPublished: May 24, 2023 06:38:00 pm

यूपी से सीख लें जिम्मेदार, वहां ऑनलाइन देख सकते हैं ई-चालान की स्थिति

#TrafficProblem: हम ट्रैफिक से परेशान, पुलिस वसूली में मस्त, ई-चालान ऑनलाइन क्यों नहीं?

#TrafficProblem: हम ट्रैफिक से परेशान, पुलिस वसूली में मस्त, ई-चालान ऑनलाइन क्यों नहीं?

इंदौर. बापट चौराहे पर कार सवार राजेश त्रिवेदी को सूबेदार ने वाहन नंबर के आधार पर बताया कि 2017-2018 के चार ई-चालान बाकी हैं। ई-चालान का भुगतान किए बगैर जाने नहीं देंगे। कार सवार ने कहा, 2021-22 में मेरे चालान बने थे, जिसका भुगतान कर दिया है। तब किसी ने पुराने चालान नहीं बताए पर सूबेदार मनमानी पर उतर आए। धमकाया कि चालान तो जमा करना पड़ेंगे, नहीं तो गाड़ी जब्त। कार सवार से नकद राशि लेने के बाद ही जाने दिया। शहर की ट्रैफिक व्यवस्था सुधारने की कवायद में पुलिस सिर्फ चालान वसूल रही है। फुटपाथ के कब्जे हटाने, पार्किंग की व्यवस्था बनाने पर ध्यान ही नहीं है। चौराहों पर ट्रैफिक संभालने के बजाए पुलिस सिर्फ चालानी कार्रवाई कर रही है। वाहन चालक को पता नहीं होता, लेकिन 2015 से 2018 के पेंडिंग ई-चालान जमा करने का दबाव डाला जा रहा है। हाल के दिनों में ई-चालान का मैसेज वाहन मालिक तक पहुंच जाता है, लेकिन सालों पुराने ई-चालान की उन्हें जानकारी नहीं है और पुलिस सख्ती कर रही है।
पुलिस की व्यवस्था नहीं

वाहन मालिक राजेश त्रिवेदी के मुताबिक, दो साल पहले पेंडिंग तीन ई-चालान जमा किए थे। उस समय एमटीएच कंपाउंड स्थित ट्रैफिक थाने गया, लेकिन 2017-18 के चालान नहीं बताए। ट्रैफिक पुलिस के पास ऑनलाइन व्यवस्था नहीं है, जहां वाहन चालक पेंडिंग चालान चेक कर सकें। यूपी में लोग ई-चालान की जानकारी ऑनलाइन खुद देख सकते हैं। ट्रैफिक पुलिस के पास वर्ष 2015 से अब तक करीब 15 लाख ई-चालान पेंडिंग हैं। 5-7 साल पहले ई-चालान बना भी तो वाहन चालक को पता नहीं है। वर्ष 2021 में वसूली 10.74, 2022 में 24.67 और 2023 के शुरुआती तीन महीने में ही यह 52.67 प्रतिशत हो गई। डीसीपी ट्रैफिक मनीष अग्रवाल ने बताया कि ई-चालान वसूलने के लिए सख्ती कर रहे हैं। ई-चालान की जानकारी के लिए ऑनलाइन व्यवस्था नहीं है। इसकी जानकारी एमटीएच कंपाउंड स्थित टीएमसी सेंटर के साथ चौराहों पर तैनात पुलिस टीम से ले सकते हैं।
एक्सपर्ट कमेंट: डॉ. सीपी अंजना मिश्रा, समाजसेवी


ट्रैफिक सुधार के लिए प्रशासन और जनप्रतिनिधियों को फुटपाथ से कब्जे हटाने व पार्किंग की व्यवस्था करनी होगी। सड़क पर किसी भी आयोजन की अनुमति न दी जाए। ट्रैफिक नियमों के उल्लंघन पर सख्ती भी की जाए। ई-चालान की जानकारी ऑनलाइन मिले। ट्रैफिक व्यवस्था बनाने जनप्रतिनिधियों, अफसरों और नागरिकों को आगे आना होगा।
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