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मास्टर प्लान के अनुसार करना होगा पहाड़ी का संरक्षण

locationजबलपुरPublished: Jul 23, 2018 01:38:13 am

Submitted by:

mukesh gour

हाईकोर्ट के निर्देश के बाद जागी उम्मीद

According to the master plan, the protection of the hill

According to the master plan, the protection of the hill

जबलपुर. मदनमहल का किला जबलपुर के 15 संरक्षित स्मारकों में शामिल है। अब मास्टर प्लान के अनुसार पूरी पहाड़ी का संरक्षण करना होगा। पहाड़ी पर अतिक्रमण कर दो हजार से ज्यादा कच्चे-पक्के निर्माण किए जा चुके हैं। न्यायालय के आदेशानुसार इन कब्जों को चार सप्ताह में हटाया जाना है। ऐसे में उम्मीद जागी है कि मदनमहल की पहाड़ी को पर्यटन स्थल के रूप में विकसित किया जा सकेगा। माना जा रहा है कि जल्द ही किले से देवताल, पिसनहारी की मढिय़ा संग्राम सागर तक रोपवे लगाने के प्रोजेक्ट पर भी काम शुरू हो सकेगा।
महत्वपूर्ण फै सला
न्यायालय ने महत्वपूर्ण फै सला सुनाया था। जिसमें स्पष्ट किया गया है कि मास्टर प्लान का अक्षरश: पालन करना होगा। चार सप्ताह में पहाड़ी से अतिक्रमण हटाया जाना है। हालांकि इसे लेकर नगर निगम प्रशासन की अब तक कुछ खास तैयारी नजर नहीं आ रही है।
फैक्ट फाइल

306 हेक्टेयर जमीन है मदनमहल पहाड़ी की
0.065 हेक्टेयर भूखंड पुरातत्व विभाग द्वारा संरक्षित
116.482 हेक्टेयर वन विभाग द्वारा संरक्षित
शेष जमीन राजस्व विभाग की, जिसमें कब्जेधारी हैं व कुछ जमीन निजी स्वामित्व की है
2100 के लगभग कब्जे हैं पहाड़ी में
पट्टेधारी
07 बदनपुर में 100 से 300 मीटर के दायरे में
06 पुरवा में 300 मीटर के बाहर
31 गढ़ा में 300 मीटर के बाहर
17 निर्माण कार्य 10 से लेकर 100 वर्ष तक पुराने हैं

मास्टर प्लान के महत्वपूर्ण प्रावधान
मदनमहल किला संरक्षित स्मारक
पहाड़ी का मद परिवर्तन न किया जाए
ग्रीन बेल्ट को हर हाल में सुरक्षित रखा जाए
संयुक्त टीम की सर्वे रिपोर्ट
प्रथम भाग- केन्द्रीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग के अंतर्गत संरक्षित मदनमहल किला व उससे संरक्षित भूमि खसरा नं 192 में 0.065 हेक्टेयर भूखंड है। संरक्षित स्मारक में 100 मीटर की परिधि में कोई कब्जा नहीं है।
द्वितीय भाग- 116.482 हेक्टर जमीन वन विभाग द्वारा संरक्षित वन घोषित है। इस जमीन में किसी भी प्रकार का अतिक्रमण नहीं है।
तृतीय भाग- ये भूखंड राजस्व विभाग के नाम पर दर्ज है। कुछ भूखंड निजी स्वामित्व का है। इस भूखंड में निजी स्वामित्व को छोड़कर राजस्व के अन्य हिस्से पर अतिक्रमण है।
नगर निगम, टीएनसीपी, पुरातत्व विभाग, वन विभाग व राजस्व विभाग सभी की संयुक्त बैठक बुलाकर मदनमहल पहाड़ी को कब्जा मुक्त कराने व काबिजों के पुनर्वास के लिए की गई तैयारियों की समीक्षा की जाएगी। जिससे कि आगे की कार्रवाई की जा सके।
छवि भारद्वाज, कलेक्टर
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