CM Kamalnath,बारिश में खड़े रहे छात्र देखकर भी नहीं रुके सीएम
जबलपुरPublished: Sep 21, 2019 08:07:36 pm
मुख्यमंत्री कमलनाथ का नहीं रोका गया काफिला
जबलपुर।
वेटरनरी विश्वविद्यालय में छात्रों की हड़ताल लगातार जारी रही छात्र पिछले 8 दिनों से धरने एवं अनशन पर बैठे हुए हैं लेकिन सरकार की ओर से अब तक छात्रों की सुध नहीं ली गई है आज मुख्यमंत्री कमलनाथ के अपमान पर छात्रों में भारी बारिश में भीगते हुए हाथों में तख्तियां लेकर सडक़ पर लाइन लगाकर अपनी मांगों को लेकर उनसे अनुनय विनय करते देखें सीएम का काफिला छात्रों के सामने से होकर गुजर गया लेकिन उन्होंने छात्रों से मिलने या उनकी समस्याओं को सुनने दे की जय माता की ली और काफिला आगे बढ़ गया जिसे लेकर छात्रों में खासी नाराजगी रही वहीं दूसरी ओर पिछले 4 दिनों से भूख हड़ताल पर बैठे छात्राओं की हालत दिन प्रतिदिन बिगड़ती जा रही है अब तक तीन छात्राएं बेहोश होकर विक्टोरिया अस्पताल में इलाज करा रही हैं लेकिन अब तक ना तो प्रशासन नाही शासन द्वारा उनकी तीन सूत्री मांगों पर कोई सकारात्मक में नहीं दिया जा रहा है छात्रों ने कहा कि जब तक उचित निर्णय नहीं होता तब तक हम आंदोलन जारी रखेंगे आज भी छात्रों में धरना प्रदर्शन एवं भूख हड़ताल कर सरकार के खिलाफ अपनी नाराजगी जाहिर की।
भूख हड़ताल पर बैठे छात्र डॉ.आशुतोष पाठक, डॉ.प्रियंका पाल, डॉ.सौरव साहू, डॉ. गोविंद चौधरी आदि ने कहा कि अब तक 6 छात्राओं की तबियत बिगडऩे के कारण उन्हें जिला अस्पताल में रिफर किया जा चुका है। छात्रों ने बताया कि कलेक्ट्रेट में मुख्यमंत्री से मिलने का हाउस आसन मिला था लेकिन बमुश्किल 1 मिनट भी मुख्यमंत्री उनसे नहीं मिले ना ही उनकी बातें सुनी गई छात्र से विज्ञापन शॉप सके ।
छात्रों की मांग है की चिकित्सकों के रिक्त पदों की भर्ती प्रक्रिया शुरू की जाए पदों की संख्या बढ़ाकर 7000 की जाए।
बेहोश हो रहे छात्र
4 कि छात्र वैभव बेहोश लगातार अनशन भूख हड़ताल के चलते आज फिर 4 छात्र बेहोश हो गए जिन्हें विक्टोरिया अस्पताल रेफर किया गया इनमें डॉ प्रियंका पाल डॉक्टर आंशिक त्रिपाठी, डॉक्टर दिनेश प्रताप सिंह आदि शामिल है रात ने धरने पर बैठे अन्य छात्रों की भी तबीयत धीरे-धीरे खराब हो रही है लेकिन ना तो छात्रों को किसी प्रकार की चिकित्सीय सुविधा उपलब्ध कराई गई है ना ही सुरक्षा व्यवस्था । छात्र आशुतोष पाठक गोविंद चौधरी आदि ने कहा कि प्रशासन एवं पुलिस उन पर दबाव डाल रही है उन्हें धरना समाप्त करने को लेकर धमकाया जा रहा है वही पुलिस की ओर से किसी भी तरह की सुरक्षा उपलब्ध नहीं कराई गई है जिससे छात्राएं सुबह से लेकर रात तक दहशत में रहती हैं।