अतिरिक्त अभियोजन अधिकारी अशोक पटेल के अनुसार महावीर कॉलोनी निवासी अनिल कुमार उसरेठे डीआरएम ऑफिस में हेड क्लर्क के पद पर कार्यरत हैं और उनकी पत्नी वर्षा उसरेठे निजी स्कूल में शिक्षक हैं। घर पर उनकी मां सुशीला उसरेठे, पुत्री आकांक्षा व पुत्र प्रियांशु रहते हैं। चार मार्च 2011 को वे सुबह 9.30 बजे ऑफिस गए, जबकि उनकी पत्नी सुबह सात बजे स्कूल चली गई। दोपहर 1.30 बजे वे खाना खाने घर आए। आते समय पत्नी गोरखपुर बाजार में मिल गई, तो दोनों एक साथ घर आए। दोनों ने घर में प्रवेश किया तो देखा कि दोनों बच्चे खून से लथपथ बेहोश थे। बाथरूम में मां भी रक्तरंजित अवस्था में पड़ी थी। उपचार के दौरान सुशीला उसरेठे की नौ मार्च को और प्रियांशु की 10 मार्च को मृत्यु हो गई। हमले में घायल पोती आकांक्षा की हालत में सुधार हो गया। पुलिस ने इस जांच के बाद शिकायतकर्ता के रिश्तेदार रघुवर प्रसाद उसरेठे को गिरफ्तार किया। सुनवाई के दौरान आकांक्षा ने आरोपित की जो कद-काठी बताई गई, वह रघुवर प्रसाद उसरेठे से मिलान कर रही थी। इस पर कोर्ट ने आरोपित को दोषसिद्ध करार देकर सजा सुनाई।