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जबलपुर

बेतरतीब निर्माण और तोड-फोड़ में बर्बाद कर रहे हैं करोड़ों बार-बार

बेतरतीब निर्माण और तोड-फोड़ में बर्बाद कर रहे हैं करोड़ों बार-बार
फु टपाथ से लेकर डिवाइडर, रोटरी,आई लैंड, सड़क, नाली निर्माण में खर्च की जा रही है मोटी रकम
जबलपुर। सड़क पर डिवाइडर का निर्माण फिर तोड़-फोड़, चौराहों में रोटरी व आईलैंड बनाना फिर उन्हें ध्वस्त करना, फु टपाथ निर्माण फिर पेवर ब्लॉक निकालकर नए पेवर ब्लॉक लगाना। शहर में इसी तरह से बेतरतीब निर्माण और तोड़-फोड़ में सरकारी खजाने से करोड़ों रुपये बर्बाद किए जा रहे हैं। सूत्रों की मानें तो अफसर व नेताओं के इशारे पर चहेतों को उपकृत करने न

जबलपुरJan 23, 2020 / 11:54 am

Prabhakar Mishra

  People say what is happening on poor construction

unplaned construction

निगम के गलियारों में कहावत ही आम हो गई है कि निजाम बदलते ही विकास के पैमाने बदल जाते हैं। दरअसल पिछले दो दशक में जब भी महापौर से लेकर नगर निगम आयुक्त बदले ज्यादातर चौराहों से लेकर सड़क व फु टपाथों का स्वरूप बदलने को लेकर प्रयोग ही होते रहे हैं। हद तो ये कि कई बार उनका फरमान इंजीनियरिंग के नियमों को भी ताक पर रख देता है।
ये है हाल-

सड़क बराबर चौड़ा फु टपाथ-सत्रह करोड़ की लागत से शहर में पैंतीस किलोमीटर क्षेत्र में फु टपाथ का निर्माण किया जा रहा है। अलग-अलग मार्गों के किनारे बनाए जा रहे फु टपाथ की चौड़ाई में कहीं भी एकरूपता नहीं है। गोरखपुर में तो सड़क के बराबर चौड़ा फु टपाथ बना दिया गया है। सिविल लाइन क्षेत्र में कई स्थान पर फु टपाथ सर्पिलाकार बना दिया गया है।
दो साल में बन सकी छोटी लाइन की रोटरी-

छोटी लाइन चौराहा से रेल की पटरी हटाई जाने के बाद लंबे समय तक रोटरी बनाने में यहां प्रयोग चलता रहा है। बड़ी मुश्किल से आखिरकार दो साल में रोटरी का निर्माण कार्य पूरा हो सका। इस दौरान कई बार रोटरी को तोड़ा गया। लाखों रुपये खर्च करके यहां रोटरी बनाई गई। बंदरिया तिराहा में आईलैंड-गोरखपुर से ग्वारीघाट मार्ग में बंदरिया तिराहा पर लगातार प्रयोग जारी हैं। पहले यहां तिराहे पर डिवाइडर की लंबाई बढ़ाई गई। फिर तिराहा में ट्रेफ्रिक सिग्नल लगा दिए गए। इस चौराहे पर पहले से लेफ्ट टर्न के लिए पर्याप्त जगह नहीं है, ऊपर से अब तिराहा में आईलैंड विकसित किया जा रहा है। गोलबाजार में ड्रेनेज सिस्टम-
शहीद स्मारक गोल बाजार में दो दशक के दौरान लगभग चार बार नाली का निर्माण किया जा चुका है। लेकिन आज तक यहां ड्रेनेज सिस्टम दुरुस्त नहीं हो सका। आए दिन नाली का पानी सड़क में भर जाता है। बारिश के दिनों में पूरा इलाका तालाब में तब्दील हो जाता है। स्मार्ट सिटी योजना के तहत फिर यहां सड़क व ड्रेनेज सिस्टम का विकास किया जाना है। डिवाइडर बनाया अब तोडऩे की तैयारी-घंटाघर से करमचंद चौक मार्ग पर बड़ी ओमती में छ: साल पहले निगम ने डिवाइडर का निर्माण कराया। अब डिवाइडर को तोडऩे की कवायद जारी है। प्रशासन की महत्वपूर्ण बैठकों में मंत्री से लेकर प्रशासनिक अधिकारी इस डिवाइडर को तोडऩे क ी बात कह चुके हैं।
वर्जन-

विकास कार्यों की समीक्षा करेंगे, निगम के सभी इंजीनियरियों को निर्देशित करेंगे कि दूरदर्शिता के साथ विकास कार्य किए जाएं। जिससे किसी भी एक काम पर बार-बार राशि खर्च न हो।

आशीष कुमार, आयुक्त, नगर निगम

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