मान्यता के लिए डेंटल कॉलेजों का निरीक्षण डीसीआई और आयुष कॉलेजों का निरीक्षण सीसीआईएम करती है। टीम कॉलेजों का निरीक्षण कर केंद्र सरका रको रिपोर्ट सौंपती है। इसके बाद स्वास्थ्य मंत्रालय मान्यता पर अंतिम निर्णय करता है। आयुष मेडिकल एसोसिएशन के राष्ट्रीय प्रवक्ता डॉ. राकेश पांडे के अनुसार केंद्र सरकार मेडिकल, डेंटल और आयुष कॉलेजों में कैजुअल्टी अनिवार्य करने के नियम का कड़ाई से पालन करने की तैयारी कर रही है। इससे मरीजों को लाभ के साथ ही एमबीबीएस, बीडीएस, बीएचएमएस, बीएएमएस, बीयूएमएस के छात्र-छात्राओं को बेहतर प्रशिक्षण का अवसर मिलेगा।