पंडित जनार्दन शुक्ला के अनुसार महाकोशल के समय एवं देशांश के अनुसार नक्षत्र- चरसंज्ञक अधोमुख नक्षत्र शतभिषा प्रात: 10.28 तक उपरंात पूर्वाभाद्रपद नक्षत्र रहेगा। शतभिषा नक्षत्र में सभी प्रकार के मांगलिक कार्य शुभ रहते हंै। इस नक्षत्र में विवाह, गृहारम्भ, गायन वादन, पशुपालन चिकित्सा, पौधरोपण, यात्रा, व्यापार वाणिज्य जैसे कार्य अत्यंत कल्याणकारी माने जाते हैं। विद्यारंभ हेतु भी यह उत्तम माना जाता है।
शुभ मुहूर्त – ंआज विपणि व्यापार, क्रय विक्रय पठन पाठन, खनिज सम्पदा, शिल्प विद्या, लेखन, वाणिज्य व्यवसाय तथा पशुपालन जैसे कार्य अत्यंत शुभ तथा सुखद माने जाते हैं।
श्रेष्ठ चौघडि़ए – आज प्रात: 6.00 से 7.30 शुभ दोपहर 10.30 से 3.00 चर, लाभ तथा अमृत एवं रात्रि 6.00 से 9.00 चर तथा अमृत की चौघडिय़ा शुभ तथा सुखद रहेगी।
व्रतोत्सव- आज : कार्तिक मास की पावन दशमी तिथि में आज सूर्य का विशाखा नक्षत्र में प्रवेश होगा।
चन्द्रमा : रात्रि 6.24 तक कुम्भ राशि में उपरंात गुरु प्रधान राशि मीन राशि में संचरण करेगा।
ग्रह राशि नक्षत्र परिवर्तन: सूर्य के तुला राशि में गुरु वृश्चिक राशि में तथा शनि धनु राशि के साथ सभी ग्रह यथा राशि पर स्थित हैं। सूर्य का स्वाति नक्षत्र में संचरण रहेगा।
दिशाशूल: आज का दिशाशूल दक्षिण दिशा में रहता है, इस दिशा की व्यापारिक यात्रा को यथा संभव टालना हितकर है। चन्द्रमा का वास पश्चिम दिशा में है, सन्मुख एवं दाहिना चन्द्रमा शुभ माना जाता है।
राहुकाल: दोपहर 1.30.00 बजे से 3.00.00 बजे तक। (शुभ कार्य के लिए वर्जित)
आज जन्म लेने वाले बच्चे – आज जन्मे बालकों का नामाक्षर गो,सा,सी अक्षर से आरंभ कर सकते हैं। पूर्वाभाद्रपद नक्षत्र में जन्मे बालकों की राशि कुम्भ होगी। राशि स्वामी शनि तथा ताम्रपाद पाया में जन्म माना जाएगा। कुम्भ राशि के जातक प्राय: कलाप्रेमी, गीत संगीत में रुचि रखने वाले, सुंदर, नैसर्गिक कार्यो में रुचि रखने वाले, समाज सेवी, धनवान, उदारवादी, मिलनसार, ललित कला में रुचि रखने वाले होते हैं।