बढ़ गई स्पेशल केयर
सिटी गार्डनिंग लवर्स का कहना है कि पौधों के देखभाल की जरूरत हर मौसम में होती है। इनमें सबसे ज्यादा गर्मी और बारिश में खास ध्यान रखने की जरूरत होती है। एेसे में प्री-मानसून शुरू होने के पहले ही प्लांट्स लवर्स हर तरह की तैयारियों में जुट चुके हैं, ताकि बारिश आने तक पौधों की ग्रोथ अच्छी हो सके।
सीजनल प्लांट्स की पर्चेजिंग
सिटी में प्लांट्स लवर्स की संख्या काफी है। एेसे में उन्होंने सीजन का ध्यान देते हुए सीजनल प्लांट्स की पर्चेजिंग भी शुरू कर दी है। प्लांट्स लवर्स का कहना है कि इस सीजन में लिली और अश्वगंधा जैसे फूल अधिक लगाए जाते हैं। इसके साथ ही रोज मैरी और सेवंती के कई बीजों को भी खरीद लिया गया है, ताकि प्री-मानसून स्टार्ट होने के दौरान ही उन्हें रोपा जा सके।
इस तरह से हो रही प्रिपरेशन
– लीकेज और टूटे गमलों में बदलाव
– हैंगिंग गार्डन की तैयारी
– पुराने पौधों की ट्रिमिंग
– सीजनल प्लांट्स और सीड्स की खरीदारी
– पानी निकासी के लिए प्रॉपर डे्रनेज का उपयोग कर रहे।
क्यारियों को मिल रहा नया रूप
बारिश के कारण मिट्टियों और खादों का बहाव अधिक हो जाता है। इसके चलते प्लांट्स लवर्स द्वारा अभी से क्यारियों को सहेजने और सुधारने का काम किया जा रहा है। इसके चलते गमलों के पास जहां जमा मिट्टी की सफाई होना शुरू हो चुकी है, वहीं हरे-भरे पौधों के आस-पास पनपे दूसरे पौधों को हटाने का काम भी शुरू हो चुका है। क्यारियों को व्यवस्थित इसलिए किया जा रहा है, ताकि बारिश होने पर खाद न बहे।
डॉक्टर्स ने रोपे फलदार पौधे
जबलपुर ऑब्सट्रेटिक एवं गायनेकोलॉजिस्ट सोसाइटी (जॉग्स) की सदस्यों ने फलदार पौधे लगाए। जिसमें सभी के द्वारा पेड़-पौधे लगाएं, पर्यावरण बचाएं, पानी बचाएं के साथ प्लास्टिक उपयोग से होने वाले नुकसान की जानकारी दी। इस अवसर पर एल्गिन अस्पताल अधीक्षक और जॉग्स प्रेसिडेंट डॉ. निशा साहू, डॉ. अल्का अग्रवाल, सचिव डॉ. सोनल रिछारिया, डॉ. चित्रा जैन, डॉ. शिरीष जामदार, डॉ. प्रज्ञा धीरावाणी, डॉ. संगीता श्रीवास्तव, डॉ. शारदा मिश्रा, डॉ. मिली गुप्ता, डॉ. अनुराधा डांग आदि उपस्थित थीं।