23 जुलाई को
सावन मास की अमावस्या है। इसे हरियाली अमावस्या भी कहा जाता है। शास्त्रों के अनुसार इस दिन स्नान, दान व व्रत का करने का बड़ा महत्व है। वहीं हरियाली अमावस्या के दिन यदि पितृदोष दूर करने के लिए उपाय किए जाएं तो पितृदोष के कष्ट दूर हो जाते हैं। मान्यता है कि इस दिन किए गए उपायों का फल शीघ्र प्राप्त होता है। आइए जानते हैं कि इस दिन कौन से उपाय आपके लिए लाभकारी हो सकते हैं-
1. इस दिन पितरों को प्रसन्न करने के लिए गाय के गोबर से बने उपले (कंडे) को सुलगाएं फिर इस पर शुद्ध घी व गुड़ मिलाकर धूप दें। यदि घी व गुड़ उपलब्ध न हो तो खीर या फिर घर में बने ताजे भोजन से भी धूप दे सकते हैं। धूप देने के बाद हथेली में पानी लें व अंगूठे के माध्यम से उसे धरती पर छोड़ दें। इससे पितृ प्रसन्न होते हैं व हमें आशीर्वाद देते हैं।
2. माता लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए हरियाली अमावस्या के दिन शाम को घर के ईशान कोण में गाय के घी का दीपक जलाएं। रुई की बत्ती की जगह इसमें लाल रंग के धागे का प्रयोग करें। संभव हो तो दीपक में थोड़ा केसर भी डाल दें।
3. अपने इष्टदेव का नाम लेकर आटे की गोलियां बनाएं और इसे किसी तालाब,झील आदि में मछलियों को खिलाएं। इससे आपके जीवन की परेशानियां कट जाती हैं।
4. इस दिन चीटिंयों को चीनी मिला हुआ आटा खिलाएं। इससे आपके पूर्व जन्म के पाप कटते हैं और अन्य काम पूर्ण होते हैं।
5. इस दिन गरीब, दुर्बल और भूखे प्राणियों को भोजन कराएं। उन्हें दान करने से पुण्य प्राप्त होता है।
6. अमावस्या के दिन हनुमान जी को चोला चढ़ाना बेहद शुभ होता है। इससे सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। यदि चोला संभव न हो तो हनुमान चालीसा का पाठ करें।