ग्राम पड़़ुआ पिपरिया, रानीताल, जुझारी उमरिया, नंदग्राम, खंदिया, दौरा, अमगवां, देवरी, मोहनिया, अमोदा, दुहतरा, दुहतरी, तलाड़, गौरहा, भिटौनी, खुडा़वल में हैंडंपम्प खराब होने से ग्रामीणों को पानी के लिए परेशान होना पड़ रहा है। ग्रामीण दूसरे गांवों से निजी बोर से ट्रैक्ट्रर ट्रॉलियों में पानी ढोने मजबूर हैं।
गांव के आकाश पटेल, नन्हें धुर्वे, अंशुल पटेल, सुरेश रजक, रामकिशोर रजक ने बताया कि जलस्तर गिरने से गांव में जलसंकट गहरा गया है। नल-जल योजना के बोर तक फेल हो गए। ऐसे में गांव के लोग बूंद-बूंद पानी के लिए तरस रहे हैं। कई गांवों में लोगों को पीने का पानी तक नहीं मिल पा रहा। ग्रामीण पानी की तलाश में दूसरे गांवों में भटक रहे हैं। हैंडपम्प भी जबाव दे गए हैं। डेढ़ हजार की आबादी वाला गांव पानी के लिए हलाकान है। खेतों में लगे सबमॢसबल और बोर से करीब ५ से ६ किमी दूर से पानी ढोकर लाना पड़ता है।
कोष्ठी मोहल्ले में तीन दिन से नहीं आया पानी
नगर परिषद मझौली के वार्ड तीन कोष्ठी मोहल्ला मझौली के लोग तीन दिन से एक-एक बूंद पानी के लिए तरस रहे हैं, जबकि पानी पर्याप्त है। इसके बाद भी नगर परिषद कर्मचारी की लापरवाही के कारण वार्ड के लोगों को पानी नहीं मिल पा रहा। दिन पहले पाइप लाइन खोलने से पानी सप्लाई बंद है। कर्मचारियों के द्वारा लाइन को अलग कर बंद कर दिया गया। इसकी सूचना कर्मचारियों को दी गई। जल प्रदाय प्रभारी विश्वनाथ नेटी की शिकायत नगर परिषद उपाध्यक्ष जितेंद्र ताम्रकार से भी शिकायत की गई। रविवार अवकाश होने के कारण कर्मचारी काम नहीं कर सकते इसके बाद इसकी सूचना नगर परिषद अध्यक्ष आजाद साहू को दी गई तो उनके द्वारा आश्वासन दिया गया कि लाइन सुधार दी जाएगी, इसके बाद भी लाइन सुधारी नहीं गई।
जलस्तर गिरने के कारण हैंडपम्प का पानी नीचे चला गया है, जिसके कारण पानी ऊपर नहीं आ रहा, जहां तक नल-जल योजना बंद होने की बात है, अधिकतर में मोटर जलने का कारण है, जिसका संधारण ग्राम पंचायतें करती हैं।
शीतल वर्मा, एसडीओ, लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी उपसभांग, सिहोरा