सवा तीन बजे शुरु होगा हस्त नक्षत्र
तीज में महिलाएं निर्जल-निराहार व्रत रखतीं हैं। रात में जागरण करते हुए चार प्रहर-हवन पूजन के बाद सुबह पारण किया जाता है। तीज के दिन आज शिवालयों एवं घरों में पूजा-अर्चना की जाएगी। जिस नक्षत्र में भगवान शिव ने पार्वती को दर्शन दिए थे उस हस्त नक्षत्र से युक्त तीज को श्रेष्ठ माना जाता है। इस तीज को दोपहर ३.१५ से हस्त नक्षत्र शुरू होगा।
मिलता है सुयोग्य वर
पुराणों में मान्यता है कि देवी पार्वती ने भगवान शिव को पति स्वरूप में प्राप्त करने के लिए कठिन तपस्या की थी। भाद्रपद शुक्ल पक्ष की तीज को भोलेनाथ ने वरदान दिया कि जन्म जन्मातर तक वे भगवती को पति रूप में प्राप्त होंगे। तब से अखंड सौभाग्य की कामना से सुहागिनें और सुयोग्य वर पाने कन्याएं शिव-गौरी पूजन करती हैं।
बरसात से बढ़ी शुभता
तीज के दिन पानी गिरना शुभ माना जाता है। यह शुभ काम हो भी गया है। शहर में ब्रह्ममुहुर्त से ही हल्की बरसात शुरु हो चुकी थी। रिमझिम बारिश का दौर अभी भी चल रहा है। तीज के लिए महिलाओं के उत्साह का यह आलम है कि अधिकांश महिलाएं सुबह जल्द उठकर स्नान आदि से निवृत्त होकर इसकी तैयारियों में लग गई हैं। यहां तक कि कई बाजारों में सुबह से ही गहमागहमी बढ़ चुकी है।